देश से कर्ज लेकर भागे शराब कारोबारी विजय माल्या को ब्रिटेन के हाई कोर्ट से झटका लगा है. ब्रिटेन के हाई कोर्ट ने विजय माल्या की उस याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें भारत प्रत्यर्पण के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में अपील करने की अनुमति मांगी गई थी. जानकारों का कहना है कि अब विजय माल्या के पास अब कोई कानूनी रास्ता नहीं बचा है और उसको 28 दिन में भारत को सौंपा जा सकता है.
बताया जा रहा है कि ब्रिटेन के होम सेक्रेटरी को विजय माल्या के प्रत्यर्पण के कागज पर 28 दिन में हस्ताक्षर करना होगा. इसके बाद ब्रिटेन का संबंधित विभाग भारत के अधिकारियों के साथ माल्या के प्रत्यर्पण के बारे में समन्वय करेगा. ब्रिटेन के हाई कोर्ट ने पिछले महीने विजय माल्या की प्रत्यर्पण के खिलाफ दायर याचिका को खारिज कर दिया था.
इससे पहले भारत में अपने प्रत्यपज़्ण की लड़ाई लड़ रहे शराब कारोबारी विजय माल्या ने गुरुवार को भारत सरकार से 100 प्रतिशत कर्ज चुकाने के उनके प्रस्ताव को स्वीकार करने के लिए कहा था. विजय माल्या ने भारत सरकार से उनके खिलाफ मामले बंद करने की अपील भी की थी. विजय माल्या ने हाल में घोषित 20 लाख करोड़ रुपये के आर्थिक पैकेज पर भारत सरकार को बधाई देते हुए अफसोस जताया कि उनके बकाया चुकाने के प्रस्तावों को बार-बार नजरअंदाज किया गया.
वहीं विजय माल्या ने ट्वीट किया, ‘कोविड-19 राहत पैकेज के लिए सरकार को बधाई. वे जितना चाहें उतने नोट छाप सकते हैं, लेकिन क्या मेरे जैसे छोटे योगदानकर्ता की अनदेखी करनी चाहिए, जो सरकार के स्वामित्व वाले बैंक से लिया गया 100 प्रतिशत कर्ज वापस करना चाहता है. विजय माल्या 650,000 पाउंड के बांड पर 17 अप्रैल से जमानत पर चल रहा है. सीबीआई और ईडी को आशा है कि अगले 28 दिनों में माल्या को भारत भेज दिया जाएगा.