सरकार ने सर्विस कर (Service Tax) व केन्द्रीय उत्पाद शुल्क (Central Excise Duty) से जुड़े पुराने लंबित विवादों का निवारण करने के लिये लाई गई की अंतिम तिथि को 15 जनवरी 2020 तक बढ़ा दिया है। एक आधिकारिक वक्तव्य में यह जानकारी दी गई है। इसमें बोला गया है, करदाताओं की योजना के प्रति रिएक्शन को देखते हुए केंद्र सरकार ने इसकी समापन अवधि 15 दिन के लिए बढ़ा दी है। अब यह योजना 15 जनवरी 2020 तक खुली रहेगी। करदाताओं की रुचि को देखते हुए यह विस्तार केवल एक बार के लिए व अंतिम होगा।
जिन करदाताओं ने इस योजना को अपनाया है, उन्होंने लंबित विवादों को निपटाने के लिए 30,627 करोड़ रुपये का कर देने की प्रतिबद्धता जताई है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 2019-20 के बजट में इस योजना की घोषणा की थी। यह योजना सेवाकर व केन्द्रीय उत्पाद शुल्क से जुड़े पुराने विवादित मामलों को निपटाने के लिए लाई गई। योजना का नाम ‘सबका विश्वास (विरासती टकराव समाधान) योजना 2019 रखा गया है। योजना एक सितंबर से लागू है।
सबका विश्वास योजना में योग्य व्यक्तियों को एकबारगी मौका दिया गया है कि वे अपने उचित कर की घोषणा करें व प्रावधानों के अनुरूप उसका भुगतान करें। मंत्रालय के अनुसार विभिन्न अर्धन्यायिक मंचों, अपीलीय न्यायाधिकरणों व न्यायिक मंचों के तहत सेवाकर व उत्पाद शुल्क के कुल मिलाकर 3.6 लाख करोड़ रुपये की देनदारी वाले 1.83 लाख मुद्दे लंबित हैं। आधिकारिक विज्ञप्ति में बोला गया है कि योजना का फायदा उठाने के पात्र इन 1.84 लाख करदाताओं में से 31 दिसंबर 2019 की प्रातः काल तक 1,33,661 करदाताओं ने आवेदन जमा कराए हैं।