नई पार्टी की अटकलों के बीच कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने रविवार को कहा कि जनता का विश्वास उनके लिए सबसे बड़ी पूंजी है और वह उन्हें न्याय दिलाने के लिए लड़ते रहेंगे और अपनी मांगों से पीछे नहीं हटेंगे।
पायलट राजस्थान में अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार पर राज्य की वसुंधरा राजे के नेतृत्व वाली भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की पिछली सरकार के खिलाफ लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच में कथित निष्क्रियता को लेकर निशाना साधते रहे हैं। पायलट ने हाल में तीन मांगें रखी थीं।
जिनमें राजस्थान लोक सेवा आयोग (आरपीएससी) को भंग करना और इसका पुनर्गठन, सरकारी नौकरी के लिये भर्ती परीक्षा के प्रश्नपत्र लीक होने से प्रभावित युवाओं को मुआवजा देना और वसुंधरा राजे नीत पिछली भाजपा सरकार के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों की उच्चस्तरीय जांच कराना शामिल है।
पायलट ने पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे पर भी कथित भ्रष्टाचार को लेकर निशाना साधा और कहा कि जब वह प्रदेश कांग्रेस प्रमुख थे, तब उन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान पार्टी (भाजपा) पर हमला किया था। इससे पहले, राजेश पायलट की पुण्यतिथि पर आयोजित इस कार्यक्रम में सचिन पायलट के आगामी राजनीतिक कदमों की घोषणा करने को लेकर काफी अटकलें थीं।
हालांकि, कांग्रेस ने विश्वास जताया है कि राजस्थान में पार्टी के भीतर कलह का एक ”सकारात्मक समाधान” निकाल लिया जाएगा और सचिन पायलट द्वारा एक नयी पार्टी बनाने की खबरों को खारिज किया था। वर्ष 2018 में राज्य में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद से ही गहलोत और सचिन पायलट के बीच सत्ता को लेकर खींचतान चल रही है।
दौसा के गुर्जर छात्रावास में अपने पिता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री राजेश पायलट की पुण्यतिथि पर उनकी प्रतिमा का अनावरण करने के बाद एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पायलट ने कहा, ”मेरे लिए जनता के बीच में विश्वसनीयता सबसे पहली प्राथमिकता है। जनता का विश्वास, उनसे किये गए वादे और विश्वसनीयता सबसे बड़ी पूंजी है।
मैं पिछले 20-22 वर्षों से राजनीति में हूं और मैंने ऐसा कोई काम नहीं किया, जिससे ऐसा लगे कि विश्वास में कमी आ गयी हो।” उन्होंने कहा, ”आने वाले समय में भी आपका विश्वास मेरे लिए सबसे बड़ी पूंजी है, उसमें कभी कमी नहीं आने दूंगा, मैं वादा करता हूं।” उन्होंने कहा कि स्थिति कैसी भी हो, लोगों के लिए लड़ना और उन्हें न्याय दिलाना उनका वादा था और वही रहेगा।