भारत आज ग्रुप ऑफ ट्वेंटी (जी20) की अध्यक्षता ग्रहण करेगा। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा है कि भारत का एजेंडा समावेशी, महत्वाकांक्षी और कार्रवाई उन्मुख होगा, क्योंकि देश आज से अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सहयोग के लिए प्रमुख मंच की अध्यक्षता ग्रहण कर रहा है।
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एक ब्लॉग पोस्ट में पीएम मोदी ने कहा कि भारत एकता की सार्वभौमिक भावना को बढ़ावा देने के लिए काम करेगा और इसकी प्राथमिकताओं को न केवल G20 भागीदारों के साथ बल्कि ग्लोबल साउथ के साथ भी आकार दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि जलवायु परिवर्तन, आतंकवाद और महामारी जैसी आज की बड़ी चुनौतियों का समाधान आपस में लड़कर नहीं बल्कि मिलकर काम करके किया जा सकता है।
प्रधानमंत्री ने ब्लॉग पोस्ट में लिखा कि भारत का G20 एजेंडा समावेशी, महत्वाकांक्षी, कार्रवाई-उन्मुख और निर्णायक होगा। आइए हम भारत की G20 अध्यक्षता को चिकित्सा, सद्भाव और आशा की अध्यक्षता बनाने के लिए एक साथ जुड़ें। आइए हम एक नए प्रतिमान को आकार देने के लिए मिलकर काम करें।
जी-20 की अध्यक्षता के दौरान, भारत पूरे भारत में कई स्थानों पर 32 विभिन्न क्षेत्रों में लगभग 200 बैठकें आयोजित करेगा। प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) के अनुसार, अगले साल आयोजित होने वाला जी -20 शिखर सम्मेलन भारत द्वारा आयोजित की जाने वाली सर्वोच्च-प्रोफ़ाइल अंतर्राष्ट्रीय सभाओं में से एक होगा।
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अपने ब्लॉग पोस्ट में पीएम मोदी ने पूछा- “क्या G20 अभी भी आगे बढ़ सकता है? क्या हम समग्र रूप से मानवता को लाभ पहुंचाने के लिए एक मौलिक मानसिकता बदलाव को उत्प्रेरित कर सकते हैं?” “मुझे विश्वास है कि हम कर सकते हैं।”
‘एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य’ थीम का हवाला देते हुए पीएम मोदी ने कहा कि भारत की जी20 अध्यक्षता एकता की इस सार्वभौमिक भावना को बढ़ावा देने के लिए काम करेगी। उन्होंने कहा कि यह सिर्फ एक नारा नहीं है। यह मानव परिस्थितियों में हाल के बदलावों को ध्यान में रखता है, जिसे हम सामूहिक रूप से सराहना करने में विफल रहे हैं। आज, हमारे पास दुनिया के सभी लोगों की बुनियादी जरूरतों को पूरा करने के लिए पर्याप्त उत्पादन करने का साधन है।
भारत की सुधार की कहानी का उदाहरण देते हुए, पीएम मोदी ने कहा कि जी20 की अध्यक्षता के दौरान, भारत भारत के अनुभवों, सीखों और मॉडलों को दूसरों के लिए, विशेष रूप से विकासशील देशों के लिए संभावित टेम्प्लेट के रूप में प्रस्तुत करेगा।
क्या है G20
बता दें कि जी-20 एक यूरोपियन यूनियन का समूह है। इसमें वो देश शामिल हैं, जो अर्थव्यवस्था के मामले में दुनिया में टॉप पर हैं। इनमें फ्रांस, इंडोनेशिया, इटली, कोरिया, जर्मनी, इंडिया, मेक्सिको, ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, चीन, रुस, सऊदी अरब, दक्षिण अफ्रीका, अर्जेंटीना, तुर्की, युनाइटेड किंगडम, जापान, अमेरिका और यूरोपीय यूनियन शामिल हैं।
इस समूह का अहम काम आर्थिक सहयोग है, जिसमें शामिल होने वाले देशों की कुल जीडीपी दुनिया भर के देशों की 80 फीसदी है। ये देश मिलकर ग्लोबल इकोनॉमी, आर्थिक स्थिरता, जलवायु परिवर्तन और हेल्थ से जुड़े मुद्दों पर चर्चा की जाती है।