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30 जून तक पूरे कर लें Tax, FD, PAN, PPF सहित ये जरूरी काम, वरना देना होगा भारी जुर्माना

कोरोना वायरस की वजह से लागू लॉकडाउन से आर्थिक गतिविधियां बुरी तरह प्रभावित हुई हैं। अभी ज्यादातर देशों में लॉकडाउन है। आर्थिक गतिविधियां लगभग ठप हैं। शुरू में सारी सरकारों को लगा कि वायरस का हमला थोड़े समय की बात है। इसका असर कम होते ही सब कुछ पटरी पर लौट आएगा। ऐसी गलतफहमियों के लिए अब कोई गुंजाइश नहीं बची है। लगभग 70 दिन चले लॉकडाउन की वजह से पूरी अर्थव्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है। इसी के मद्देनजर सरकार ने भी कई चीजों की डेडलाइन 31 मार्च से बढ़ाकर 30 जून कर दी थी। जिससे आम लोगों को घर से बहार नहीं निकलना पड़े। आइए आपको बताते हैं किन-किन फाइनेंशियल चीजों की डेडलाइन 30 जून रखी गई है, जिसके कारण आपको इस डेडलाइन तक अपने काम निपटाने जरूरी हैं….

वित्त वर्ष 2018-19 का आईटीआर: अब करदाताओं के पास जून आखिर तक वित्त वर्ष 2018-19 के लिए लेट ITR दाखिल करने का मौका है। इसके अलावा अगर पहले आईटीआर फाइल कर चुके हैं तो उसमें करेक्शन करने का यानी रिवाइज ITR भरने का भी मौका रहेगा।

जमा कर दें फॉर्म 15G/15H: सूत्रों के मुताबिक फॉर्म 15G और फॉर्म 15H को बैंक में जमा कर यह सुनिश्चित किया जा सकता है कि आपके बैंक अकाउंट में जमा पर हो रही ब्याज आय टैक्स के दायरे में नहीं आती। लिहाजा इस पर TDS न काटा जाए। सरकार ने जमा किए जा चुके फॉर्म 15  जी और फॉर्म 15एच की वैधता को बढ़ाकर 30 जून 2020 किया है। CBDT ने तय किया है कि वित्त वर्ष 2019-20 में जमा किए गए फॉर्म 15G/15H 30 जून 2020 तक मान्य रहेंगे और बैंक/फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन निवेशकों की ब्याज आय पर जून आखिर तक टैक्स नहीं काटेंगे।

पोस्ट ऑफिस लाइफ इंश्योरेंस प्रीमियमपोस्टल लाइफ इंश्योरेंस और रूरल: पोस्टल लाइफ इंश्योरेंस के लिए प्रीमियम भुगतान पीरियड को 30 जून 2020 तक बढ़ाया गया. सभी PLI और RPLI पॉलिसी धारकों को राहत देने के लिए डायरेक्टोरेट ऑफ पोस्टल लाइफ इंश्योरेंस, डिपार्टमेंट ऑफ पोस्ट, संचार मंत्रालय ने मार्च 2020, अप्रैल 2020 और मई 2020 के बकाया प्रीमियम के भुगतान की अवधि को 30 जून 2020 तक बढ़ाने का फैसला किया। इसमें कोई जुर्माना या डिफॉल्ट फी नहीं ली जाएगी।

बचत खाते पर मिनिमम बैलेंस में छूट: सरकार ने 30 जून तक बचत खाते में मिनिमम मंथली बैलेंस मेंटेन रखने की जरूरत को भी खत्म किया हुआ है. अगर ग्राहक के बचत खाते में मिनिमम बैलेंस मौजूद नहीं हुआ तो बैंक उससे चार्ज नहीं वसूलेंगे। अभी मेट्रो सिटी, शहरी, अर्ध शहरी और ग्रामीण इलाकों के हिसाब से अलग-अलग बैंकों में बचत खाते में मिनिमम बैलेंस रखने की लिमिट अलग-अलग है।

 PPF अकाउंट एक्सटेंड कराने की समयसीमा भी बढ़ी: इसके अलावा यह भी फैसला हुआ कि जिन लोगों का PPF अकाउंट 31 मार्च को मैच्योर हुआ है, जिसमें एक साल का एक्सटेंशन भी शामिल है, वे लोग अगर अपने PPF अकाउंट को आगे एक्सटेंड करना चाहते हैं लेकिन लॉकडाउन के कारण ऐसा मार्च 2020 तक नहीं कर पाए हैं, तो उनके पास अकाउंट एक्सटेंड कराने के लिए फॉर्म जमा करने का मौका 30 जून 2020 तक रहेगा।

PPF, SSY का मिनिमम अमाउंट: सरकार ने PPF और सुकन्या समृद्धि अकाउंटहोल्डर्स को राहत दी और दोनों अकाउंट के प्रावधानों में ढील देते हुए फैसला किया कि जो लोग PPF और सुकन्या समृद्धि अकाउंट में लॉकडाउन के चलते वित्त वर्ष 2019-20 के लिए मिनिमम डिपॉजिट नहीं कर पाए हैं, वे अब 30 जून 2020 तक ऐसा कर सकते हैं। इस किस्त को देरी से भरी गई किस्त नहीं माना जाएगा और न ही कोई पेनल्टी या रिवाइवल फीस वसूल की जाएगी। PPF और सुकन्या समृद्धि अकाउंट के लिए एक वित्त वर्ष में निश्चित न्यूनतम धनराशि जमा करना अनिवार्य है। PPF अकाउंट के लिए यह मिनिमम डिपॉजिट एक वित्त वर्ष में 500 रुपये और सुकन्या समृद्धि स्कीम के लिए 250 रुपये है।

आधार-पैन लिंकिंग: सरकार ने पैन को आधार से जोड़ने की आखिरी तारीख बढ़ाकर 30 जून कर दी थी. पहले यह 31 मार्च थी। अब अगर 30 जून डेडलाइन के अंदर आधार के साथ पैन लिंक नहीं किया गया तो यह मान्‍य नहीं रह जाएगा। आप ऐसा कोई फाइनेंशियल ट्रांजेक्शन नहीं कर पाएंगे, जहां पैन जरूरी होगा।

अटल पेंशन योजना के लिए ऑटो डेबिट फैसिलिटी: पेंशन फंड रेगुलेटरी एंड डेवलपमेंट अथॉरिटी (PFRDA) ने अटल पेंशन योजना (APY) के लिए ऑटो डेबिट फैसिलिटी को 30 जून 2020 तक के लिए रोक दिया है. यानी जो लोग APY में निवेश कर रहे हैं, उनके सेविंग्स अकाउंट से अपने आप इस स्कीम के लिए योगदान का पैसा नहीं कटेगा। इस स्कीम में मासिक या तिमाही आधार पर योगदान होता है।

FY 2019-20 के लिए एडवांस टैक्स: केंद्र सरकार ने वित्त वर्ष 2019-20 के लिए एडवांस टैक्स के भुगतान की तारीख को बढ़ाकर 30 जून 2020 कर दिया है. इसलिए जो टैक्सपेयर्स एडवांस टैक्स के ब्रैकेट में आते हैं, उन्हें सुझाव है कि वे 30 जून से पहले टैक्स जमा कर दें, जिससे टैक्स लायबिलिटी पर कोई ब्याज न हो. इनकम टैक्स कानून के तहत, अगर टैक्सपेयर की टैक्स लायबिलिटी 10,000 रुपये से ज्यादा है (सिवाय सीनियर सिटीजन जिनकी बिजनेस इनकम नहीं है), तो टैक्सपेयर्स को एडवांस टैक्स का भुगतान करना पड़ता है।

सीनियर सिटीजन सेविंग स्‍कीम में निवेश: सरकार फरवरी और अप्रैल 2020 के बीच रिटायर हुए कर्मचारियों के लिए सीनियर सिटीजन सेविंग स्‍कीम अकाउंट में निवेश करने की आखिरी तारीख 30 जून 2020 तक बढ़ा चुकी है। योजना के नियमों के मुताबिक, 55-60 साल आयु के रिटायर लोग एससीएसएस स्‍कीम में सेवानिवृत्ति लाभ मिलने के एक महीने के भीतर निवेश कर सकते हैं।

किसी भी बैंक ATM से कितनी ही बार नकद निकासी: 30 जून तक किसी भी बैंक के डेबिट/ATM कार्ड से किसी भी बैंक ATM से नकद निकासी पर कोई चार्ज नहीं लगेगा. अभी दूसरे बैंकों के ATM से एक निश्चित संख्या में फ्री नकद निकासी की जा सकती है. उस संख्या के खत्म होने के बाद ट्रांजेक्शन करने पर चार्ज देना होता है।

फॉर्म-16: सरकार ने कंपनियों के लिए फॉर्म 16 जारी करने की मियाद बढ़ाकर 15 जून से 30 जून कर दी है। फॉर्म 16 टीडीएस सर्टिफिकेट होता है। कंपनी सैलरी से स्रोत पर जो कर कटौती करती है, इसमें इसका पूरा ब्‍यौरा होता है।

निवेश पर टैक्स छूट: अगर 30 जून तक आप किसी ऐसी स्कीम या प्लान में निवेश करते हैं जिसमें इनकम टैक्स एक्ट के तहत टैक्स छूट मिलती है, तो उस निवेश पर आप फाइनेंशियल ईयर 2019-20 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न में क्लेम कर सकते हैं. सरकार ने इस बात को नोटिफिकेशन के जरिए साफ किया है कि LIC, PPF, NPS जैसी स्कीम में 30 जून तक निवेश करके टैक्स छूट का लाभ लिया जा सकता है। नई LIC, मेडिक्लेम, PPF, NPS जैसी योजनाएं 30 जून तक लेने पर FY 2019-20 के लिए डिडक्शन के लिए योग्य होंगी। LIC की पुरानी पॉलिसी पर प्रीमियम, मेडिक्लेम, PPF, NPS जैसी योजनाओं पर 30 जून तक किए गए पेमेंट भी इसमें शामिल हैं।

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