उत्तर प्रदेश विधानसभा का मानसून सत्र विशेष परिस्थिति में आयोजित किया गया था। कोरोना से बचाव हेतु निर्धारित दिशा निर्देशों पर अमल सुनिश्चित किया गया। इस सत्र में सत्ता पक्ष करीब डेढ़ दर्जन विधेयकों को पेश करेगी। प्रथम दो दिन शोक प्रस्ताव के बाद सदन को स्थगित किया गया।
शहीदों व सदन के पूर्व व वर्तमान दिवंगत सदस्यों के प्रति संवेदना व्यक्त की गई। इनमें दो केबिनेट मंत्री समेत चार विधायकों और बीस पूर्व विधायकों को श्रद्धांजलि देने के बाद सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई थी।
दूसरे दिन भाजपा विधायक जन्मेजय सिंह के निधन के कारण शोक प्रस्ताव के बाद शनिवार पूर्वाह्न ग्यारह बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया। विधायक के निधन के चलते सपा को अपना विरोध प्रदर्शन स्थगित भी स्थगित करना पड़ा।
दूसरे दिन जैसे ही प्रारम्भ हुई नेता सदन व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दिवंगत विधायक जन्मेजय सिंह के निधन पर शोक प्रस्ताव पेश किये। इसके बाद सपा के विधायकों की तरफ से ललई यादव, बसपा दल के नेता लालजी वर्मा, कांग्रेस विधायक दल की नेता आराधना मिश्रा मोना तथा अन्य दलों की तरफ से दिवंगत विधायक के प्रति शोक संवेदना व्यक्त की गई। विधानसभा अध्यक्ष हृदय नारायण दीक्षित ने भी श्रद्धांजलि दी।