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सरकार की नई गाइडलाइन: कोरोना वैक्सीन लगवाने से पहले या बाद में क्या करें और क्या नहीं

देश में कोरोना वायरस के कंट्रोल के लिए लगातार लोगों का वैक्सीनेशन किया जा रहा है. अब तक करीब 19 करोड़ लोगों को कोरोना वैक्सीन की एक डोज या 2 डोज लग चुकी है. इस बीच वैक्सीनेशन में लोगों को दिक्कत न आए या किसी तरह का कनफ्यूजन ना रहे, इसके लिए सरकार ने नई गाइडलाइंस जारी की है. केंद्र सरकार ने अब कहा है कि कोरोना मरीज पूरी तरह रिकवर होने के 3 महीने बाद वैक्सीन लगवा सकते हैं. केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय तकनीकी सलाहकार समूह (एनटीएजीआई) की सिफारिश पर यह फैसला लिया है. नई गाइडलाइंस के मुताबिक वैक्सीन लगवाने के पहले और वैक्सीनेशन के बाद भी कुछ बातों का ध्यान रखना जरूरी है.

वैक्सीन लेने के पहले ध्यान रखें

कोरोना मरीज पूरी तरह रिकवर होने के 3 महीने बाद वैक्सीन लगवा सकते हैं.

किसी रोग से ICU में रहने वाले मरीज के भी स्वस्थ होने के 3 माह बाद वैक्सीन लगेगी.

जिनका प्लाज्मा थेरेपी के जरिए उपचार किया गया है, उन्हें भी वैक्सीन के लिए 3 महीने का इंतजार करना होगा.

ऐसे लोग भी 3 महीने बाद वैक्सीन लगवाएं जो पहली वैक्सीन के बाद कोरोना संक्रमित हो गए थे.

बिना अपॉइंटमेंट के टीकाकरण के लिए न जाएं. सभी स्लॉट्स की बुकिंग कोविन रजिस्ट्रेशन के जरिए हो रही है.

स्तनपान कराने वाली महिलाएं भी वैक्सीन ले सकती हैं.

किसी को कई माध्यमों के जरिए खुद को रजिस्टर नहीं करना चाहिए.

वैक्सीन लेने से पहले एंटीजन टेस्ट जरूरी नहीं है.

किसी भी व्यक्ति को अलग-अलग प्लेटफॉर्म के लिए अलग-अलग फोन नंबर और आईडी का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए.

टीकाकरण के दिन अल्कोहल या फिर अन्य किसी मादक पदार्थ का सेवन नहीं करना चाहिए.

अगर वैक्सीन ले चुके हैं

कोविन पर दूसरी डोज के लिए रजिस्टर करने की कोई आवश्यकता नहीं है.

वैक्सीन के साइड इफेक्ट होने की स्थिति में परेशान नहीं होना चाहिए.

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