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लेनोवो की मदद से कंथलूर में स्वदेशी किसान बाजरा की खोई किस्मों को कर रहे पुनर्जीवित

लेनोवो की वर्क फॉर ह्यूमनकाइंड पहल के तहत केरल के कंथलूर में किसान बाजरे की छह किस्मों को पुनर्जीवित करके नए जोश के साथ बुआई कर रहे हैं। लेनोवो अपने तकनीकी आधारित प्रोटोटाइप मॉडल के माध्यम से बाजरा की खेती को पुनर्जीवित करने, बाजरा उत्पादन प्रक्रियाओं को आसान बनाने के लिए कार्य कर रही ही हैं। बाजरा की ये छह किस्में कंथलूर में स्थानीय होमस्टे, आंगनवाड़ी व स्कूल की रसोइयों में बनाया जायेगा और रोज के भोजन में इसको शामिल किया जायेगा।

इस पहल के तहत लेनोवो ने कंथलूर में आईएचआरडी कॉलेज ऑफ एप्लाइड साइंस में कंथलूर बाजरा के लिए लेनोवो डिजिटल सेंटर की स्थापना है। ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि समुदाय के पास परियोजना में सफल होने के लिए प्रौद्योगिकी उपकरण उपलब्ध हैं। केंद्र कृषक समुदाय तक डिजिटल तकनीक उपलब्ध कराने में सक्षम हुई हैं और राज्य फसल बीमा, फसल विविधीकरण योजनाओं, सब्सिडी, सहकर्मी शिक्षण और बाजरा खेती के तरीकों पर अंतर्दृष्टि साझा करने जैसी सरकारी योजनाओं से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारी के केंद्र के रूप में उभरा है। कंथलूर में किसान आज जानकारी तक पहुंचने और डिजिटल केंद्र, स्वयंसेवकों और समुदाय से जुड़े रहने के लिए स्मार्टफोन का उपयोग करते हैं।

कंथलूर में बाजरा खेती के लिए विशिष्ट कृषि मूल्य श्रृंखला को डिजिटल बनाने के लिए लेनोवो ने समुद्र नेटवर्क और एग्री ऐप के साथ साझेदारी की भी घोषणा की। इसमें फसल विवरण ट्रैकिंग, गुणवत्ता नियंत्रण के लिए प्रसंस्करण कार्यों का डिजिटलीकरण और बाजार सूची निर्माण शामिल है। ड्रीम इंडिया नेटवर्क के समर्थन से, हमने किसानों को बाजरा की खेती को पुनर्जीवित करने और उन्हें बाजार की खेती में इस्तेमाल की जाने वाली प्रौद्योगिकी के तकनीक का उपयोग करने के लिए सशक्त बनाया है। कंथलूर एक प्रमाण है कि प्रौद्योगिकी तक पहुंच समुदायों को बदल सकती है और यहां तक कि खोई हुई परंपराओं को भी पुनर्जीवित कर सकती है।

कंथलूर ग्राम पंचायत के अध्यक्ष कंठ मोहनदास ने कहा, “बाजरा कंथल्लूर के इतिहास का हिस्सा है, और हमें आधुनिक तकनीक की मदद से अपनी पारंपरिक कृषि पद्धतियों को पुनर्जीवित करने की खुशी है। कंथलूर में मिलेट्स को वास्तविकता बनाने के लिए हम लेनोवो और इस परियोजना में शामिल उनके सभी भागीदारों को धन्यवाद देना चाहते हैं। यह कंथलूर की उपलब्धि में एक और उपलब्धि है, जिसने हाल ही में केंद्र सरकार से केरल में सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गांव का स्वर्ण पदक जीता है। ग्राम पंचायत लंबे समय तक इस पहल का समर्थन करेगी।”

पहल के हिस्से के रूप में, लेनोवो ने कंथलूर में कुदुम्बश्री स्व-सहायता समूह की महिला सदस्यों द्वारा संचालित एक बाजरा प्रसंस्करण केंद्र भी स्थापित किया है। प्रसंस्करण केंद्र कृषक समुदाय को सेवाएं प्रदान करता है और उपज के लिए समय पर भुगतान सुनिश्चित करते हुए किसानों से बाजरा खरीदता है। यह सुविधा कंथलूर बाजरा के लिए एक बीज बैंक और बिक्री केंद्र भी होगी।

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