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बाल स्वास्थ्य पोषण माह व स्तनपान सप्ताह पर कार्यशाला आयोजित

कानपुर। मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय स्थित सभागार में बाल स्वास्थ्य एवं पोषण माह, स्तनपान सप्ताह और आईडीसीएफ कार्यक्रम पर संयुक्त रूप से कार्यशाला आयोजित की गई। इसमें विभिन्न कार्यक्रमों पर प्रशिक्षण दिया गया। सीएमओ डॉ. नैपाल सिंह की अध्यक्षता में वृहस्पतिवार को रामा देवी स्थित आरसीएच सभागार में स्टाफ नर्स और चिकित्सा अधीक्षकों की सामूहिक बैठक व प्रशिक्षण आयोजित किया गया। कार्यशाला में सभी सामुदायिक, शहरी सामुदायिक, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र और जिला अस्पतालों के चिकित्सा अधीक्षक व स्टाफ नर्स ने प्रतिभाग किया। इसके साथ ही जिला कार्यक्रम प्रबंधक और बाल विकास परियोजना अधिकारियों ने भी कार्यशाला में प्रतिभाग किया।

सीएमओ ने कहा- सभी चिकित्सा अधिकारी और कर्मचारी बाल स्वास्थ्य एवं पोषण माह, स्तनपान सप्ताह और आईडीसीएफ कार्यक्रमों में लक्षित लाभार्थियों को सभी सेवाएं देने और कार्यक्रम को सफल बनाने के प्रति पूरा ध्यान दें।

एसीएमओ व परिवार कल्याण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डॉ. एस.के. सिंह ने सभी चिकित्सा अधीक्षक और कर्मचारियों से कहा कि संस्थागत प्रसव में लेबर रूम में कार्यरत सभी स्टाफ को स्तनपान के बारे में पूरी तरह से प्रशिक्षित किया जाये और प्रसव उपरान्त जल्द से जल्द एक घंटे के भीतर बच्चों को माँ का दूध पिलाया जाना सुनिश्चित किया जाये। काशीराम संयुक्त चिकित्सालय की स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. सीमा राय, सीएचसी सरसौल के बाल रोग विशेषज्ञ डॉ. रमेश और कल्यानपुर के डॉ. अविनाश यादव ने सभी को स्तनपान और बच्चे के जन्म के बाद छह माह तक सिर्फ स्तनपान के महत्त्व पर जागरूक किया। उप जिला स्वास्थ्य शिक्षा एवं सूचना अधिकारी राजेश यादव ने बताया कि जिले के 391 उपकेन्द्र, 42 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, 50 शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र और 4 जिला अस्पताल व मेडिकल कॉलेज में ओआरएस कॉर्नर बनाया गया है जहाँ लाभार्थियों को ओ.आर.एस. पैकेट दिए जा रहे हैं और डायरिया पर जागरूक किया जा रहा है।

जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ. एके कन्नौजिया ने सभी को अवगत कराया कि बाल स्वास्थ्य एवं पोषण माह के अन्तर्गत नियमित टीकाकरण में प्रत्येक सोमवार और वृहस्पतिवार को 9 माह से 5 वर्ष तक के बच्चों को विटामिन ‘ए’ की खुराक पिलाई जा रही है। जिले में लगभग 5.89 लाख लक्षित बच्चे हैं। अब विटामिन ‘ए’ खुराक के साथ ही बच्चों को आई.एफ.ए. सिरप की बोतल भी दी जाएगी। उन्होंने बताया कि सत्र के 1-2 दिन बाद कार्यक्रम का अनुश्रवण भी किया जायेगा। आई.एफ.ए. सिरप का वितरण एनीमिया मुक्त भारत कार्यक्रम में भी सहयोग करेगा और बच्चों में खून की कमी दूर हो सकेगी।

  • स्तनपान पर हुआ स्टाफ नर्स व चिकित्सकों का प्रशिक्षण।
  • गर्भवती के कोविड वैक्सीनेशन के लिए स्पेशल सत्र होंगे आयोजित।

डॉ. कन्नौजिया ने बताया कि अब गर्भवती का कोविड वैक्सीनेशन किया जायेगा, इसके लिए गाइड लाइन आ चुकी है। उन्होंने कहा कि गर्भवती के कोविड टीकाकरण के लिए अलग से सत्रों का आयोजन किया जायेगा। कार्यक्रम में जिला कार्यक्रम प्रबंधक अश्विनी गौतम, डीसीपीएम योगेन्द्र, डीएचइआईओ शैलेन्द्र, जिला मातृ स्वास्थ्य परामर्शदाता हरि शंकर मिश्रा, डब्ल्यूएचओ से जितेन्द्र चवन, यूएनडीपी से वीसीसीएम धनंजय सिंह, यूनिसेफ से आशीष और अन्य अधिकारी व कर्मचारीगण मौजूद रहे।

रिपोर्ट-शिव प्रताप सिंह सेंगर

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