कांग्रेस नेता और पंजाब के मंत्री Navjot Singh Sidhu पर रोड रेज मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में शुरू हो गयी है। हालाँकि इसके पहले 2006 में पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने सिद्धू को दोषी पाया था। जिसके बाद नवजोत सिंह सिद्धू ने उच्च न्यायालय के इस फैसले को सर्वोच्च न्यायालय में चुनौती दी थी।
हाईकोर्ट में दोषी पाए गए थे Navjot Singh Sidhu
पंजाब के मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के खिलाफ 30 साल पुराना रोड रेज का मामला सर्वोच्च न्यायालय में शुरू हुआ है। बता दें की इन पर ये मामला 1988 में दर्ज किया गया था जिसकी सुनवाई सुप्रीम कोर्ट से शुरू हो गयी है। सिद्धू, अमृतसर से तीन बार सांसद हैं और वर्तमान में पंजाब सरकार में मंत्री हैं।
क्या है ये मामला
मामला 27 दिसंबर 1988 का है, जब कार पार्किंग को लेकर नवजोत सिंह सिद्धू का गुरनाम सिंह नाम के एक बुजुर्ग शख्स से विवाद हो गया। हालात इतने बिगड़ गए कि मामला मारपीट तक पहुंच गया। इस मारपीट में गुरनाम सिंह को गंभीर चोट आई।
गुरनाम सिंह के परिजन और मौके पर मौजूद एक रिश्तेदार ने बताया कि सिद्धू की मारपीट में गुरनाम सिंह गंभीर रुप से घायल हो गए। इसके बाद उनको अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
इसके बाद सिद्धू के खिलाफ गैर-इरादतन हत्या का केस दर्ज कराया गया। जिसमें सिद्धू व उनके एक दोस्त रुपिंदर सिंह सिंधू के खिलाफ केस दर्ज हुआ था। इस मामले में साल 2006 में सिद्धू को पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट से राहत नहीं मिली थी। मामले में अदालत ने उनको दोषी पाया था और सजा सुनाई थी। अब हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है।