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सभी पात्र महिलाओं को मिलेगा प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना का लाभ : सीएमओ

  • जनपद में 21 मार्च से होगी मातृ वंदना योजना सप्ताह की शुरुआत
  • पोषण के लिए दिये जाते हैं तीन किस्तों में पांच हजार रुपये

औरैया।प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (पीएमएमवीवाई) जनपद में रंग ला रही है। अब 21 मार्च से मातृ वंदना सप्ताह भी शुरू होने जा रहा। राज्य परिवार नियोजन सेवा अभिनवीकरण परियोजना एजेंसी (सिफ्सा) की अधिशासी निदेशक अपर्णा उपाध्याय ने मातृ वंदना सप्ताह के अंतर्गत पंजीकरण शिविर और बैक लॉग निस्तारण शिविर आयोजित करने का निर्देश दिया है। शिविर के जरिए वार्षिक पंजीकरण लक्ष्य के साथ लंबित प्रकरणों का भी निस्तारण होगा। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. अर्चना श्रीवास्तव का कहना है- जनपद की सभी पात्र लाभार्थियों को योजना का लाभ मिलेगा, इसी उद्देश्य से यह सप्ताह मनाया जा रहा है।

डा. श्रीवास्तव ने बताया- पीएमएमवीवाई केंद्र सरकार की महात्वाकांक्षी योजना है। इस योजना में पहली बार गर्भवती होने पर पोषण के लिए तीन किस्तों में पांच हजार रुपये दिये जाते हैं। 21 से 27 मार्च तक आयोजित इस सप्ताह में विशेष रूप से समुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों व नगरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केंद पर बैकलॉग, लंबित किस्तों का निस्तारण किया जाएगा, साथ ही नये आवेदन फार्म भरे जाएंगे। उन्होंने बताया इस दौरान जीरो लाभार्थी आशा एवं 90 दिनों से अक्रियाशील आशा कार्यकर्ताओं पर भी फोकस किया जाएगा।

पीएमएमवीवाई की जिला कार्यक्रम समन्वयक डा. आसमां ने बताया-जनपद में लगातार लाभार्थियों को किस्तों का भुगतान किया जा रहा है। इस वित्तीय वर्ष (2021-22) में 5622 लाभार्थियों का योजना में पंजीकरण किया जा चुका है। इस वित्तीय वर्ष में जनपद में 90.5 फीसद लक्ष्य पूरा किया जा चुका है।
पहली बार गर्भवती होने पर तीन किस्तों में मिलते हैं पांच हजार रुपये योजना के तहत पहली बार गर्भवती (मां बनने) होने पर महिला को तीन किस्तों में पांच हजार रुपये दिए जाते हैं, प्रसव चाहे सरकारी या निजी अस्पताल में कराया गया हो। पंजीकरण के लिए माता-पिता का आधार कार्ड, मां की बैंक पासबुक की फोटो कापी जरूरी है। मां का बैंक अकाउंट ज्वाइंट नहीं होना चाहिये। निजी अकाउंट ही मान्य होगा। यदि बच्चे का जन्म हो चुका है तो मां और बच्चे दोनों के टीकाकरण का प्रमाणिक पर्चा होना जरूरी है।

पंजीकरण कराने के साथ ही गर्भवती को प्रथम किस्त के रूप में 1000 रुपये दिए जाते हैं। प्रसव पूर्व कम से कम एक जाँच होने पर दूसरी किस्त के रूप में (गर्भावस्था के छह माह बाद) 2000 रुपये और बच्चे के जन्म का पंजीकरण होने और बच्चे के प्रथम चक्र का टीकाकरण पूरा होने पर तीसरी किस्त के रूप में 2000 रुपये दिए जाते हैं। यह सभी भुगतान गर्भवती के बैंक खाते में ही किये जाते हैं।

रिपोर्ट-शिव प्रताप सिंह सेंगर

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