ईरान ने हाल ही में पाकिस्तान के अशांत बलूचिस्तान क्षेत्र में मिसाइल से हमला किया था। जिसके जवाब में पाकिस्तानी सेना ने उसके सिस्तान प्रांत में हमले किए। तबसे दोनों देशों के बीच संबंधों में तनाव बना हुआ है। इस बीच, चीन के विदेश मामलों के उप मंत्री सुन वीदोंग ने सोमवार कहा कि उनका देश दोनों के बीच मध्यस्थता का प्रयास कर रहा है, ताकि मतभेदों को खत्म किया जा सके। विदोंग का यह बयान उनके इस्लामाबाद दौरे के बीच आया है।
चीन ने बीते गुरुवार को दोनों देशों के बीच ‘रचनात्मक भूमिका’ निभाने की पेशकश की थी। ईरान ने बलूचिस्तान में मिसाइल और ड्रोन से हमले किए थे। इसके बाद उसने दावा किया था कि उसने जैश अल-अदल के ठिकानों को निशाना बनाया है। जो ईरान में हमले करता है। इसके बाद पाकिस्तान ने भी ईरान के सिस्तान प्रांत में हवाई हमले किए और दावा किया कि उसने बलूच लिबरेशन आर्मी को निशाना बनाया है। जो मुख्य रूप से पाकिस्तानी सेना को निशाना बनाता है।
इन हमलों ने चीन को असमंजस की स्थिति में डाल दिया है। एक तरफ पाकिस्तान है, उसका सदाबहार सहयोगी है। जबकि, दूसरी ओर हाल के वर्षों में ईरान के साथ उसकी गर्मजोशी बढ़ी है, जिससे वह पश्चिम एशिया में अपना प्रभाव क्षेत्र बढ़ाना चाहता है। चीन ईरान से काफी मात्रा तेल आयात करता है।
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता वांग वेनबिन ने आज एक मीडिया ब्रीफिंग की। इस दौरान पाकिस्तानी पत्रकार ने उनसे चीन के विदेश मंत्री मा झाओशू की ईरानी समकक्ष अली बाघेरी कानी के साथ फोन पर हुई बातचीत और सुन वीदोंग की इस्लामाबाद यात्रा के बारे में पूछा। वीदोंग पाकिस्तान और भारत दोनों देशों में राजदूत रह चुके हैं।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा, ईरान और पाकिस्तान मित्र पड़ोसी हैं और दोनों चीन के अच्छे दोस्त हैं। वांग ने कहा, चीन क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय शांति और स्थिरता को बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, बीजिंग वार्ता और परामर्श के जरिए इस्लामाबाद और तेहरान के बीच मतभेदों को दूर करने के प्रयासों का समर्थन करता है। प्रवक्ता ने कहा, चीन दोनों देशों की जरूरतों के आधार पर उनके बीच संबंधों को सुधारने में सकारात्मक और रचनात्मक भूमिका निभाना जारी रखेगा।