लखनऊ। पिछले लगभग दो साल से लगातार पत्राचार कर रहे संयुक्त कल्याण महासमिति के महासचिव विनय कृष्ण पांडेय द्वारा प्राधिकरण के अधिकारियों को मौके पर ले जाकर निरीक्षण तक कराया जा चुका है, लेकिन आज तक सड़कों की स्थिति जस की तस बनी हुई है। प्राधिकरण के इस लचर कार्य प्रणाली का असर है कि लखनऊ स्मार्ट सिटी बनने की दौड़ में हर बार पिछड़ जा रहा है।
सेक्टर-6, जानकीपुरम विस्तार पावर हाउस के सामने पीपल वाली रोड के नाम से जानी जाती है। यहां पानी जमा होने की वजह से लोगों का इस मार्ग पर चलना दूभर हो जाता है। इसी तरह डीपीएस से चन्द्रिका टावर वाली रोड में इतने बड़े बड़े गढडे हैं कि सड़क चलने लायक नहीं है।
लखनऊ जनकल्याण उपाध्यक्ष विवेक शर्मा द्वारा भी अधिकारियों के संज्ञान में पत्राचार कर अनेकों बार मामला संज्ञान में लाया गया किन्तु कोई सुनवाई होती प्रतीत नहीं हो रही है। सभी जिम्मेदार आंखे मूंदे बैठे हैं।
विवेक शर्मा कहते हैं कि अगर शहर का वास्तविक विकास देखना हो तो जानकीपुरम विस्तार आईये जहां प्राधिकरण अधिकारियों के देखरेख में महज विकास की रेल बिना पटरी के दौड़ है। इस इलाके में सिर्फ विकास को हटा दें तो पूरे क्षेत्र में अवैध निर्माण व अतिक्रमण फल फूल रहा है। और जनसमस्याओं को नजर अन्दाज किया जा रहा है।