उत्तराखंड में एक बैंक में तैनात बैंककर्मी ने अपने दोस्तों संग मिलकर ग्राहकों को लाखों रुपयों का चूना लगा दिया। बैंक में लेन-देन से जुड़े मामले को जानकर पुलिस भी दंग रह गई। आरोपी बैंककर्मी ने ग्राहक के खाते से लाखों रुपये निकाल लिए। पुलिस ने आरोपी बैककर्मी समेत तीन लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिय है।
उत्तराखंड ग्रामीण बैंक से ग्रामीण के पांच लाख की रकम निकालने का ताना बाना संविदा बैंककर्मी ने ही बुना था। कनखल पुलिस ने घटना से पर्दा उठाते हुए संविदा बैंककर्मी, उसके दोस्त एवं खाताधारक बनकर बैंक शाखा पहुंचे शातिर को गिरफ्तार कर लिया है।आरोपियों के कब्जे से करीब चार लाख की रकम भी बरामद कर ली गई है। एसएसपी अजय सिंह ने प्रकरण की गुत्थी सुलझाने पर पुलिस टीम का हौसला बढ़ाया है।
एक मई को कनखल क्षेत्र के गांव जमालपुर कलां निवासी ग्रामीण रतन सिंह ने कनखल थाने में मुकदमा दर्ज कराया था कि उसके निकासी फार्म पर फर्जी हस्ताक्षर कर उत्तराखंड ग्रामीण बैंक शाखा में खाते से पांच लाख की रकम निकाल ली गई है। कनखल पुलिस ने मामले की जांच शुरू की तब संविदा बैंककर्मी का भूमिका संदिग्ध पाई गई।
बताया कि बैंककर्मी सन्नी ने अपने दोस्त मोनू के साथ मिलकर ग्रामीण के बैंक खाते से रकम निकालने की योजना बनाई। जिसके बाद मोनू पेशे से दोपहिया वाहन मैकेनिक रविंद्र से संपर्क साधा, जिसकी शक्ल खाताधारक रतन सिंह से मिलती जुलती थी। 25 अप्रैल को मोनू ही रविंद्र को लेकर बैंक पहुंचा था।
बैंक शाखा से रकम निकालने के बाद बैंककर्मी ने दो, उसके दोस्त ने दो लाख ले लिए थे जबकि मैकेनिक के हिस्से एक लाख की रकम आई थी। बताया कि सन्नी चतुर्थ श्रेणी कर्मी था लेकिन स्टॉफ की कमी के कारण बैंक के कामकाज में भी हाथ बंटाया करता था।
कनखल पुलिस ने जब संविदा बैंककर्मी सन्नी कुमार पुत्र विशनदास निवासी डी-36 मायापुर डामकोठी को हिरासत में लेकर पूछताछ की तब कहानी सामने आ गई। एसओ नितेश शर्मा ने बताया कि बैंककर्मी सन्नी कुमार ने अपने साथी मोहित शर्मा उर्फ मोनू पुत्र दिनेशचन्द्र शर्मा निवीस अशोक विहार राजागार्डन कनखल और रविंद्र पुत्र सल्लूराम निवासी ग्राम सरसावा थाना सरसावा जिला सहारनपुर यूपी के साथ मिलकर रकम निकाली थी।