नोट बंदी के फैसले को मोदी सरकार की आर्थिक डकैती संबंधी कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के आरोप से नाराज भाजपा ने उनसे यूपीए कार्यकाल में बैड लोन में हुई 138 फीसदी की बढ़ोत्तरी का हिसाब मांगा है। पार्टी के राष्ट्रीय सचिव श्रीकांत शर्मा ने कहा कि यूपीए कार्यकाल में उद्योगपतियों को बैड लोन का तोहफे का हिसाब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी क्यों दें?
शर्मा ने इस दौरान कांग्रेस कार्यकाल में उद्योगपतियों को बांटे गए 36.5 लाख करोड़ की रकम का भी सवाल उठाया और कहा कि आरोप लगाने से पहले राहुल को अपने गिरेबान में झांकना चाहिए। गौरतलब है कि नोट बंदी पर कांग्रेस उपाध्यक्ष ने प्रधानमंत्री पर फिर सीधा हमला बोलते हुए आर्थिक डकैती करने का आरोप लगाया है।
राष्ट्रीय सचिव ने कहा कि जो सवाल राहुल को अपनी पार्टी से पूछना चाहिए वह वही सवाल प्रधानमंत्री से पूछ रहे हैं। वह अपनी पार्टी से क्यों नहीं पूछते कि कारोबारी विजय माल्या पर स्टेट बैंक की 1450 करोड़ रुपये की देनदारी मामले ठंडे बस्ते में डाल कर यूपीए सरकार ने उसे 1500 करोड़ का लोन क्यों दिलवाया।
राष्ट्रीय सचिव ने कहा कि जो सवाल राहुल को अपनी पार्टी से पूछना चाहिए वह वही सवाल प्रधानमंत्री से पूछ रहे हैं। वह अपनी पार्टी से क्यों नहीं पूछते कि कारोबारी विजय माल्या पर स्टेट बैंक की 1450 करोड़ रुपये की देनदारी मामले ठंडे बस्ते में डाल कर यूपीए सरकार ने उसे 1500 करोड़ का लोन क्यों दिलवाया।
इसी यूपीए सरकार के कार्यकाल में उद्योगपति गौतम अडाणी पर 73000 करोड़, अनिल अंबानी पर 1.13 लाख करोड़ और कुल 36.5 लाख करोड़ का बकाया था। ऐसे में जो सवाल मोदी सरकार को कांग्रेस और राहुल से पूछना चाहिए, उल्टा वही सवाल राहुल गांधी प्रधानमंत्री से कर रहे हैं। शर्मा ने राहुल को ध्यान आकर्षित करने वाली बीमारी से ग्रस्त नेता बताया और कहा कि आरोप लगाने से पहले वह होमवर्क नहीं करते।