Karnataka में बीएस येदियुरप्पा को राजभवन में राज्यपाल वजूभाई वाला ने पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। हालाँकि येदियुरप्पा का मुख्यमंत्री बनने तक के सफर में बीती रात काफी नाटकीय ढंग से बीता। कल याकूब मेमन के बाद दूसरी बार आधी रात को सुप्रीम कोर्ट खुला। इस दौरान कोर्ट ने कहा है कि येदियुरप्पा शपथ ग्रहण करें लेकिन कोर्ट में अपने विधायकों की लिस्ट पेश करें।
Karnataka : आधी रात को दूसरी बार खुला सु्प्रीम कोर्ट, येदियुरप्पा बने सीएम
इन दिनों Karnataka में सरकार बनाने को लेकर काफी कश्मकश लगी हुई है। यहां हुए चुनाव में किसी भी पार्टी को पूर्ण बहुमत न मिलने से मामला काफी खींचा-तानी से भरपूर हो गया। एक तरफ कर्नाटक के राज्यपाल वाजूभाई वाला, जिन्होंने बीजेपी को सरकार बनाने का न्योता दिया तो दूसरी तरफ कांग्रेस और जेडीएस ने इस फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट के दरवाजे खटखटा डाले और सुनवाई के लिए बुधवार की रात विशेष तौर से कोर्ट खुलवाई गई।
आज दोबारा इस मामले पर सुनवाई
जस्टिस ए.के. सीकरी समेत तीन जजों की बेंच में इस मामले पर रात में बहस हुई। करीब तीन घंटे चली सुनवाई के बाद सुबह 5 बजे सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि फिलहाल ऐसा कोई संवैधानिक अधिकार नहीं है जिससे राज्यपाल के फैसले पर रोक लगाई जा सके। हालांकि बेंच ने साथ ही यह भी कहा है कि बीएस येदियुरप्पा गुरुवार को अपने विधायकों की लिस्ट को कोर्ट में पेश करें। ऐसे में सुप्रीम कोर्ट में आज दोबारा इस मामले पर सुनवाई होगी।
- केंद्र सरकार की ओर से अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने शपथग्रहण रोकने की मांग पर कहा कि यह बिना वहज है।
- उन्होंने इस मामले में रात के समय तत्काल सुनवाई पर भी आपत्ति उठाई।
- इसके पहले मुंबई बम धमाकों के दोषी याकूब मेमन की याचिका पर फांसी से ठीक पहले 29 जुलाई 2015 को आधी रात में सुनवाई हुई थी।
राजभवन में मुख्यमंत्री के रूप में शपथग्रहण
येदियुरप्पा ने कर्नाटक के 25वें मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली। यह तीसरी बार है जब येदियुरप्पा को कर्नाटक के मुख्यमंत्री की कुर्सी मिली है। उनके स्वागत के लिए राजभवन के बाहर ज़बरदस्त तैयारियां की गई। जगह-जगह ढोल-नगाड़े बज रहे थे। आज सिर्फ येदियुरप्पा ने ही शपथ ली। मंत्रिमंडल का शपथग्रहण विधानसभा में फ़्लोर टेस्ट के बाद होगा।
राज्यपाल को कांग्रेस और जेडीएस को मौका देना चाहिए
सिंघवीं ने इस बात का भी जिक्र किया था कि जेडीएस और कांग्रेस ने राज्यपाल वाजूभाई वाला को करीब 116 विधायकों के समर्थन का पत्र सौंपा है। इसमें कांग्रेस, जेडीएस, बसपा और निर्दलीय विधायक शामिल है। वहीं बीजेपी के पास सिर्फ 104 विधायक हैं। वहीं खास बात तो यह है कि 222 सीटों पर मतदान होने से बहुमत के लिए 112 विधायकों का समर्थन ही चाहिए। ऐसे में राज्यपाल को कांग्रेस और जेडीएस को सरकार बनाने का मौका देना चाहिए था।
- शपथ ग्रहण समारोह के दौरान कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद, अशोक गहलोत और सिद्धारमैया सहित कांग्रेस विधायक और नेता मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा के शपथ ग्रहण के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के लिए विधानसभा में महात्मा गांधी की मूर्ति के पास इक्ट्ठा हुए।
- शिवसेना के संजय राउत ने कहा कि बीएस येदियुरप्पा ने शपथ ली है लेकिन बहुमत साबित करना मुश्किल होगा। राज्यपाल को उन लोगों को बुलाया जाना चाहिए जिनके पास अधिकतम संख्या थी।