उत्तर प्रदेश के वाराणसी में आपराधिक घटना कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। सदर तहसील में फार्च्यूनर की ड्राइविंग सीट पर बैठे ठेकेदार की गोली मारकर हत्या कर दी गई। सूचना के बाद मौके पर पुलिस पहुंची और जांच में जुट गई।
जानकारी के मुताबिक, सारानाथ के लोहिया नगर के रहने वाले ठेकेदार नितेश सिंह उर्फ बबलू किसी काम से सदर तहसील गए थे। जहां वह अपनी फार्च्यूनर कार की ड्राइविंग सीट पर बैठे थे। तभी अचानक से बाइक सवार बदमाशों ने उनपर अंधाधुंध फायरिंग कर दी।
इससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। पुलिस ने बताया कि ठेकेदार के पास भी लाइसेंसी पिस्टल बरामद हुई है। वहीं ठेकेदार को सात गोलियां मारी गई हैं। घटना के तुरंत बाद कमिश्नर दीपक अग्रवाल और आईजी रेंज विजय सिंह मीणा भी मौके पर पहुंच गए हैं।
नितेश सिंह उर्फ बबलू मूल रूप से चंदौली जिले के धानापुर के निवासी थे। तीन भाइयों में सबसे बड़े नितेश सिंह ठेकेदार और बस मालिक थे। रोजा और सहेली नाम से 8 बस गाजीपुर-बनारस रोड पर चलती हैं। इसके साथ ही कुछ बस बनारस-मध्य प्रदेश रोड पर चलती हैं।
25 साल पहले नितेश उर्फ बबलू सिंह की शादी अनीता सिंह से हुई थी। उनके दो बेटे ऋषभ सिंह व प्रांजल हैं। उनकी पत्नी अनीता सिंह ने ब्लॉक प्रमुख का चुनाव लड़ा था, उसे वह हार गई थीं। नितेश उर्फ बबलू सिंह का आपराधिक प्रवृत्ति से पुराना नाता था।
जानकारी के मुताबिक, नितेश सारनाथ थाने का हिस्ट्रीशीटर था। एनसीएल में ठेकेदारी के साथ ही बस-ट्रक संचालन और प्रॉपर्टी डीलिंग का काम करते थे। नितेश का डॉ वीपी सिंह हत्याकांड में भी नाम शामिल था। बबलू सिंह के आवास पर घटना के बाद सन्नाटा पसर गया।
पुलिस ने घटनास्थल से नौ खोखे बरामद किए हैं। वारदात में 0.32 बोर की दो अलग-अलग पिस्टल इस्तेमाल की गई हैं। जानकारी के अनुसार, बीते दो महीनों में सनसनीखेज तरीके से सात लोगों की हत्या की गई है।