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धोखाधड़ी के मामले ट्रक मालिकों को मिली जमानत

वाराणसी। ट्रकों पर फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर नाजायज रूप से बालू व गिट्टी लादकर ले जाने के मामले में तीन ट्रक मालिकों की अग्रिम जमानत अर्जी मंजूर हो गयी। अपर सत्र न्यायाधीश (अष्ठम) जनार्दन प्रसाद यादव की अदालत ने दोषीपुरा, जैतपुरा निवासी सुरेंद्र यादव, उसके भाई सुभाष यादव व एक अन्य धर्मराज यादव को पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए जाने की दशा में 50-50 हजार रुपए की दो जमानतें एवं बंधपत्र देने पर रिहा करने का आदेश दिया। अदालत में बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता अनुज यादव, बृजपाल सिंह यादव व मनीष राय ने पक्ष रखा।

अभियोजन पक्ष के अनुसार मंडुआडीह थाना प्रभारी महेंद्र राम प्रजापति 19 सितंबर 2020 को क्षेत्र में गश्त कर रहे थे। उसी दौरान वह जब लहरतारा चौराहे पर आए तो वहां पिकेट पर तैनात कांस्टेबल विजय कुमार व नंदलाल यादव मिले। इस दौरान वहां से कुछ ट्रकें गुजर रही थी। जब उन्हें रोककर छानबीन की गई तो पता चला कि आठ ट्रकों पर फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर अवैध रूप से बालू व गिट्टी लादकर ले जाया जा रहा है। इस दौरान मौके से कोलदास यादव, रामसमुझ यादव, कुंजन राजभर, सिकंदर यादव, लालबहादुर यादव व असलम को पकड़ा गया।

पूछताछ में उन्होंने बताया कि गाड़ियों का चालान होने से बचने के लिए वह लोग गाड़ी में फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर चलते हैं और इसके चलते अवैध बालू व गिट्टी लादकर मालिक ट्रक से पैसा कमाते हैं। यह फर्जी नम्बर प्लेट राहुल सिंह नामक व्यक्ति उपलब्ध कराता है। साथ ही गाड़ी पास करने के एवज में दो-दो हजार रुपए लेता है। विवेचना के दौरान तीनों ट्रक मालिकों के नाम प्रकाश में आने पर पुलिस ने उन्हें आरोपित बनाया था।
अदालत में बचाव पक्ष की ओर से दलील दी गयी कि ट्रक मालिकों से अवैध वसूली करने के उद्देश्य से उन्हें आरोपित बनाया गया है। वह लोग न तो मौके से गिरफ्तार हुए है और न ही घटना का कोई स्वतंत्र साक्षी है। ऐसे में उन्हें अग्रिम जमानत दी जाय। अदालत ने पत्रावली व साक्ष्यों के अवलोकन करने के बाद तीनों ट्रक मालिकों की अग्रिम जमानत अर्जी मंजूर कर ली।

रिपोर्ट-जमील अख्तर

वाराणसी। ट्रकों पर फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर नाजायज रूप से बालू व गिट्टी लादकर ले जाने के मामले में तीन ट्रक मालिकों की अग्रिम जमानत अर्जी मंजूर हो गयी। अपर सत्र न्यायाधीश (अष्ठम) जनार्दन प्रसाद यादव की अदालत ने दोषीपुरा, जैतपुरा निवासी सुरेंद्र यादव, उसके भाई सुभाष यादव व एक अन्य धर्मराज यादव को पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए जाने की दशा में 50-50 हजार रुपए की दो जमानतें एवं बंधपत्र देने पर रिहा करने का आदेश दिया। अदालत में बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता अनुज यादव, बृजपाल सिंह यादव व मनीष राय ने पक्ष रखा।

अभियोजन पक्ष के अनुसार मंडुआडीह थाना प्रभारी महेंद्र राम प्रजापति 19 सितंबर 2020 को क्षेत्र में गश्त कर रहे थे। उसी दौरान वह जब लहरतारा चौराहे पर आए तो वहां पिकेट पर तैनात कांस्टेबल विजय कुमार व नंदलाल यादव मिले। इस दौरान वहां से कुछ ट्रकें गुजर रही थी। जब उन्हें रोककर छानबीन की गई तो पता चला कि आठ ट्रकों पर फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर अवैध रूप से बालू व गिट्टी लादकर ले जाया जा रहा है। इस दौरान मौके से कोलदास यादव, रामसमुझ यादव, कुंजन राजभर, सिकंदर यादव, लालबहादुर यादव व असलम को पकड़ा गया। पूछताछ में उन्होंने बताया कि गाड़ियों का चालान होने से बचने के लिए वह लोग गाड़ी में फर्जी नम्बर प्लेट लगाकर चलते हैं और इसके चलते अवैध बालू व गिट्टी लादकर मालिक ट्रक से पैसा कमाते हैं। यह फर्जी नम्बर प्लेट राहुल सिंह नामक व्यक्ति उपलब्ध कराता है। साथ ही गाड़ी पास करने के एवज में दो-दो हजार रुपए लेता है। विवेचना के दौरान तीनों ट्रक मालिकों के नाम प्रकाश में आने पर पुलिस ने उन्हें आरोपित बनाया था।

अदालत में बचाव पक्ष की ओर से दलील दी गयी कि ट्रक मालिकों से अवैध वसूली करने के उद्देश्य से उन्हें आरोपित बनाया गया है। वह लोग न तो मौके से गिरफ्तार हुए है और न ही घटना का कोई स्वतंत्र साक्षी है। ऐसे में उन्हें अग्रिम जमानत दी जाय। अदालत ने पत्रावली व साक्ष्यों के अवलोकन करने के बाद तीनों ट्रक मालिकों की अग्रिम जमानत अर्जी मंजूर कर ली।

रिपोर्ट-जमील अख्तर

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