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लेखपाल व अमीन संघ ने की रापालायो घोटाले की जांच कराने की मांग

औरैया। जिले की तहसील बिधूना में राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ योजना में हुए घोटाले की हुई एफआईआर में निष्पक्ष जांच हेतु लेखपाल व राजस्व संग्रह अमीन संघ के प्रतिनिधियों ने बुधवार को जिलाधिकारी सुनील कुमार वर्मा से भेंट कर उन्हें ज्ञापन सौंपा और कहा कि पुलिस षड़यंत्र कर गलत तरीके से उन लोगों को फंसाना चाहती है, इसलिए इसकी जांच उपजिलाधिकारी/तहसीलदार की मौजूदगी में सात दिवस के अंदर कराई जाये‌। अन्यथा वह लोग पुलिस कार्यशैली के विरुद्ध कलमबंद हड़ताल पर जाने को मजबूर होंगे।

बिधूना तहसील लेखपाल संघ के अध्यक्ष योगेश कुमार शाक्य व राजस्व संग्रह अमीन के जिलाध्यक्ष अशोक त्रिपाठी के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने बुधवार को जिलाधिकारी से भेंट कर उन्हें अलग-अलग ज्ञापन सौंपा।

जिसमें कहा कि तहसील बिधूना में राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ योजना के तहत पात्रों की चयन प्रक्रिया के दौरान कुछ दलालों व कार्यालय के कर्मचारियों द्वारा गलत चयन कर फर्जी तरीके से अपने को लाभ पहुंचाया गया था। मामला संज्ञान में आने के बाद उपजिलाधिकारी बिधूना द्वारा जांच कराकर अपात्रों से वसूली की कार्यवाही व उक्त कृत्य में लिप्त कर्मचारियों के विरुद्ध कार्यवाही हेतु आपके समक्ष आख्या प्रस्तुत की गयी थी, जिसके उपरान्त वसूली के निर्देश दिये गये थे। जिसके अनुपालन में सम्बन्धित अमीनों द्वारा सम्पूर्ण धनराशि को वसूल कराकर राजकीय कोष में जमा करा दिया गया था और तत्कालीन तहसीलदार बिधूना द्वारा दोषियों के विरुद्ध कोतवाली बिधूना में एफआईआर पंजीकृत कराई गई थी।

उक्त एफआईआर में बिधूना पुलिस द्वारा विवेचना के दौरान और नाम बढ़ाये गये। कहा कि उक्त प्राथमिकी माह जनवरी दर्ज में हुयी थी जिसकी विवेचना पुलिस द्वारा अभी तक पूर्ण नहीं की और मोबाइल की कॉल डिटेल निकलवाकर तहसील के अमीनों, लेखपालों व अन्य अधिकारियों को मुल्जिम बनाने का प्रयास किया जा रहा है, जबकि दोषी आज भी खुलेआम धूम रहे हैं व स्थानीय पुलिस के लगातार सम्पर्क में है और पुलिस उन्हें गिरफ्तार नहीं कर रही है। जिस कारण पुलिस की भूमिका संदिग्ध प्रतीत होती है। ज्ञापन में कहा गया कि यहां यह भी स्पष्ट करना है कि यदि कॉल डिटेल के आधार पर तहसील कर्मी मुल्जिम बनाये जा सकते हैं तो पुलिस की भी मोबाइल कॉल डिटेल निकलवा कर उनको भी मुल्जिम बनाया जा सकता है।

ज्ञापन में दोनों संघों ने मांग की कि राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ योजना घपले में दर्ज एफआईआर की सात दिवस के अंदर उपजिलाधिकारी/तहसीलदार की मौजूदगी में जांच कराकर पर्चे आदि काटने की कार्रवाई की जाये, अन्यथा की स्थिति में सात दिवस के बाद समस्त लेखपाल व अमीन अपने संघों के बेनर तले अनिश्चितकालीन कलमबंद हड़ताल करने को बाध्य होंगे जिसके लिए संबंधित पुलिस प्रशासन पूर्ण रूप से जिम्मेदार होगा।

जिस पर जिलाधिकारी ने कहा कि राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ में हुए घोटाले में किसी सँग्रह अमीन के विरुद्ध पुलिस द्वारा षड़यंत्र के तहत कोई कार्रवाई नहीं होगी। कहा कि संग्रह अमीनो द्वारा सिर्फ वसूली के समय सम्पर्क स्थापित किया गया है। उन्होंने विवेचना जल्द से जल्द समाप्त कराए जाने का आश्वासन भी दिया।

रिपोर्ट-शिव प्रताप सिंह सेंगर

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