नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसान नेताओं ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा है कि भाजपा से तिरंगे के सम्मान को लेकर भाषण की आवश्यकता नहीं है, अधिकतर किसानों के बच्चे सीमाओं पर लड़ रहे हैं. वहीं योगेंद्र यादव ने कहा है कि मोदी जी और योगी जी और अन्य सभी को ध्यान से सुनना चाहिए, किसान इस आंदोलन से पीछे नहीं हटेंगे.
वहीं कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसान आज महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर सद्भावना दिवस मनाएंगे और दिन भर का उपवास रखेंगे. ये उपवास सुबह नौ बजे से शाम पांच बजे तक रखा जाएगा. किसान नेताओं ने केंद्र में सत्तारूढ़ भाजपा पर भी निशाना साधा और आरोप लगाया कि कृषि कानूनों के खिलाफ शांतिपूर्ण आंदोलन को बर्बाद करने का प्रयास किया जा रहा है.
इस बीच हरियाणा सरकार ने कल शाम 5 बजे तक अंबाला, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र, करनाल, कैथल, पानीपत, हिसार, जींद, रोहतक, भिवानी, चरखी दादरी, फतेहाबाद, रेवाड़ी और सिरसा में वॉयस कॉल को छोड़कर इंटरनेट सेवाओं को निलंबित कर दिया है. किसान नेताओं ने इसे लेकर प्रदर्शन की जगहों पर इंटरनेट व्यवस्था बहाल करने की मांग की है.
किसानों को तकरीबन सभी विपक्षी दलों का समर्थन हासिल हो रहा है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा है कि सरकार को किसानों से बात करनी चाहिए और उनकी समस्या का समाधान करना चाहिए. कृषि कानूनों को रद्द करके ही इस समस्या का साधान किया जा सकता है.
इसके अलावा सपा मुखिया अखिलेश यादव ने भी फोन पर राकेश टिकैत से बात की है. अखिलेश यादव ने कहा है कि भाजपा सरकार ने किसान नेताओं को जिस तरह से प्रताडि़त किया है, उसे पूरा देश देख रहा है महाराष्ट्र सरकार में मंत्री जयंत पाटिल ने भी किसानों का समर्थन किया है. पाटिल ने कहा-कोई भी 26 जनवरी को दिल्ली में ट्रैक्टर परेड के दौरान हुई हिंसा को सही नहीं ठहरा रहा है, लेकिन किसानों की मांगों को भी नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए.