दुनिया में मात्र भारतीय संस्कृति ने सर्वे भवन्तु सुखिनः की कामना की है। इस तथ्य को व्यपक रूप में समझने व उस पर अमल की आवश्यकता है। इससे विश्व में शांति व सौहार्द का सपना साकार हो सकता है। उपासना पद्धित व धार्मिक मान्यताएं अलग हो सकती है। सभी के ...
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