राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की संचालन व्यवस्था विलक्षण है। इसमें कोई पद नहीं होता,बल्कि दायित्व होता है। इस शब्द का भावनात्मक प्रभाव दिखाई देता है। इसमें लालसा या लिप्सा नहीं रहती,बल्कि कर्तव्य पालन की भावना होती है,दायित्व बोध रहता है। शीर्ष दायित्वों के साथ भी वैभव के आडंबर नहीं होते। ...
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