डॉ. एमई हक के प्रयासों से टीकाकरण से इंकार करने वालों की बनी नयी सोच
गया। जिला में वृहस्पतिवार को कोविड टीकाकरण के लिए महाअभियान चलाया गया. किसी कारणवश टीका से इंकार करने वाले लोगों से स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने महाअभियान के दौरान मुलाकात की. ऐसे लोगों को कोविड संक्रमण के बारे में विस्तार से जानकारी देकर टीका लेने के लिए प्रेरित किया गया।
अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों के साथ की बैठक: जिला के डुमरिया प्रखंड के मंझौली तथा सलैया गांवों का भ्रमण कर लौटे जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी सह कोविड नोडल अधिकारी डॉ एमई हक ने बताया कि प्रखंड के इन गांवों के अल्पसंख्यक समुदाय के उन लोगों से विशेष तौर पर मुलाकात की गयी जिन्हें कोविड टीकाकरण को लेकर आपत्ति थी. सर्वे के दौरान ऐसे लोगों द्वारा टीकाकरण को लेकर इंकार की बात कही गयी थी. इसे देखते हुए इन लोगों से इंकार करने के कारणों को जाना समझा गया।
उन्होंने बताया कई लोग भ्रम व डर तथा सही जानकारी नहीं होने के कारण टीका से इंकार कर रहे थे. इसके बाद समुदाय के लोगों के साथ बैठ कर कोविड संक्रमण के फैलने के बारे में विस्तार से जानकारी दी गयी और इस संक्रमण से बचने के लिए टीकाकरण को आवश्यक बताया गया. लोगों को समझाया कि टीकाकरण उनलोगों के लिए और भी अधिक जरूरी है जो अन्य बीमारियों से ग्रसित हैं. विशेषकर ऐसे लोग जो उच्च रक्तचाप, ह्रदय रोग, शुगर आदि से पीड़ित हैं, उन्हें जरूरर टीकाकरण करा लेना चाहिए. लोगों को बताया गया कि ऐसे लोगों की रोग प्रतिरोधी क्षमता कमजोर होती है. वे कई अलग अलग संक्रमण का शिकार हो सकते हैं. इनमें कोविड संक्रमण भी शामिल है. कोविड की तथ्यात्मक जानकारी देने के बाद टीकाकरण को लेकर इंकार करने वाले लोगों में नयी सोच बनी है और अब वे टीकाकरण अभियान का हिस्सा बन रहे हैं।
अधिकारियों से मिल रही है कोविड की सही जानकारी: सर्वे में टीका लेने से इंकार करने वालों को टीकाकरण के लिए समझाने में प्रखंड स्तर के चिकित्सा पदाधिकारी भी लगे रहे. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ दूसरे विभाग के अधिकारी भी समन्वय स्थापित कर लोगों को टीकाकरण के लिए लोगों को मोबिलाइज करते रहें. इससे बड़ा बदलाव देखने को मिला. जिन लोगों को कोविड संक्रमण के कारण की सही जानकारी नहीं थी, या कोविड संक्रमण को मानने को तैयार नहीं थे, उनलोगों ने भी आगे बढ़ कर टीकाकरण कराया।