हर मौसम के सेहत से संबंधित कुछ फायदे-नुकसान होते हैं। खासकर, त्वचा संबंधित समस्याएं सर्दी-गर्मी दोनों में ही बढ़ जाती हैं। गर्मी के मौसम में चिपचिपी त्वचा, ऑयली स्किन, मुहांसों, फोड़े-फुंसियों की समस्या से लोग अधिक परेशान होते हैं। ऐसे में गर्मियों में त्वचा का खास ध्यान रखना जरूरी होता है। गर्मियों में आपको अपनी त्वचा की देखभाल (skin care) सुबह और रात में सोने से पहले भी करना चाहिए।
बारिश में कुछ लोगों को कपड़ों और जूतों से भी एलर्जी होने लगती है. गीले और सिंथेटिक कपड़ों में नमी के कारण और कपड़ों के रगड़ने से बॉडी के किसी भी पार्ट में एलर्जी हो सकती है. इसी तरह पैरों में नमी होने से भी एलर्जी हो सकती है.
सारा दिन घर से बाहर रहते हैं। धूल-गंदगी, प्रदूषण, सूरज की हानिकारक किरणों आदि का चेहरे पर निगेटिव असर होता है। ऐसे में रात में सोते समय मेकअप हटाना ना भूलें।
गर्मी और बारिश में कई लोगों को पसीने और चिपचिपाहट की वजह से स्किन रैशेज हो जाते हैं. बारिश के मौसम में गीले कपड़ों से सिरोसिस की बीमारी होती है जिसमें त्वचा पर रैशेज हो जाते हैं. कई बार ये स्किन रैशेज पूरे शरीर पर भी हो सकते हैं. इसके लिए आप अपने कपड़े और शरीर को सूखा रखें. रैशेज पर पाउडर का इस्तेमाल करें.
बारिश में होने वाली एलर्जी में सबसे सामान्य फंगल इंफेक्शन है. नमी की वजह से फंगस और बैक्टीरिया पैदा हो जाते है. फंगल इंफेक्शन में दाद, एथलीट फुट और नेल इंफेक्शन होना सबसे आम बात है.