Breaking News

भाषा विश्वविद्यालय में हुआ योग कार्यशाला का आयोजन

लखनऊ। ख़्वाजा मुईनुद्दीन चिश्ती भाषा विश्वविद्यालय के राष्ट्रीय सेवा योजना तथा अधिष्ठाता छात्र कल्याण के तत्वाधान में कुलपति प्रोफेसर एनबी सिंह के संरक्षण और मार्गदर्शन में दशम अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के अंतर्गत योग सप्ताह मनाए जाने के क्रम में आयोजित एकदिवसीय कार्यशाला zoom मीट पर आयोजित की गई इसका विषय मानसिक विकारों के प्रबंधन में योग की भूमिका था।

डॉक्टर सुधा राव, सहायक आचार्य डिपार्मेंट आफ विजुअल इंपेयरमेंट फैकेल्टी आफ स्पेशल एजुकेशन डॉक्टर शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय उत्तर प्रदेश ने इस एक दिवसीय कार्यशाला की विषय विशेषज्ञ थीं। उन्होंने योग के विभिन्न आयामों के ऊपर प्रकाश डाला।

भाषा विश्वविद्यालय में हुआ योग कार्यशाला का आयोजन

अध्यनरत विद्यार्थियों तथा साथ ही साथ शिक्षकों और अन्य लोग जो ऐसे इंस्टीट्यूशंस में काम करते हैं उनके ऊपर जितने मानसिक दबाव रहते हैं उसके चलते उन्हें कई बार स्ट्रेस की परेशानियां हो जाती है, एंजायटी की परेशानियां हो जाती हैं जिससे वह अपना परफॉर्मेंस बहुत अच्छा नहीं कर पाते हैं। इन सभी विषयों के ऊपर डॉक्टर सुधा राव ने प्रकाश डाला और इसको कैसे योग के माध्यम से इन्हें दूर किया जा सकता है इसके विषय में भी उन्होंने बताया।

उन्होंने कई ऐसे योग क्रियाओं के बारे में बताया जिससे बच्चे अपने स्ट्रेस को अपने ऊपर बढ़ रहे दबाव को आसानी से जीत हासिल कर सकते हैं। इसके लिए उन्होंने बताया कि बहुत सारे परामर्श केंद्र होते हैं कई सारे ऑनलाइन भी विशेषज्ञ होते हैं जिनसे बच्चे परामर्श प्राप्त कर सकते हैं साथ ही साथ उनका यह भी कहना था कि आज के भाग दौड़ भरी जिंदगी में बच्चों के सोने उठने बैठने के घंटे में और उनके कार्य करने की दक्षता में बहुत परिवर्तन आया है। इन परिवर्तनों की वजह से भी ऐसे कई सारे मनोविकार उत्पन्न हो रहे हैं जिस पर बच्चों द्वारा आसानी से विजय नहीं प्राप्त की जा सकती उन्हें कहीं ना कहीं सहायता की आवश्यकता होती है।

👉🏼वायु प्रदूषण के कारण बढ़ता स्वास्थ्य जोखिम, 2021 में दुनिया में 81 लाख लोगों की मौत; रिपोर्ट में दावा

उन्होंने साथ में यह भी कहा कि आजकल के माता-पिता, अभिभावकों व शिक्षकों और आसपास के परिवेश में जो भी बड़े लोग हैं उन के ऊपर बच्चों के ऊपर जो दबाव है। उनके ऊपर जो मानसिक रूप से दबाव है।

उसे भावनात्मक रूप के दबाव को महसूस तो करना आता है, लेकिन उसके लिए क्या उपाय किए जाएं इस पर दक्षता होनी आवश्यक है उसकी जानकारी होनी आवश्यक है जिससे कि वह ऐसे बच्चों को योग के माध्यम से मानसिक रूप से जो भी जिस भी तरीके परेशानियां हैं उनके विषय में वह उन्हें जागरूक कर पाए उन्हें मार्गदर्शन दे पाए और उनकी समस्याओं को निजात दिला पाए।

भाषा विश्वविद्यालय में हुआ योग कार्यशाला का आयोजन

ऐसे प्रयासों की आवश्यकता पर डॉक्टर सुधा राव ने जोर दिया। अंत में उन्होंने बच्चों को बहुत सारी बधाइयां देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की और उन्होंने नए भारत के निर्माण में एक स्वस्थ मानसिक रूप से दैहिक, दैविक रूप से स्वस्थ समाज के निर्माण के लिए बच्चों का आह्वान किया।

बच्चों को यह भी कहा कि मानसिक स्वास्थ्य के प्रति उन्हें और अधिक चैतन्य रहने की आवश्यकता है और अधिक सीखने की आवश्यकता है और व्यक्तिगत तौर पर इस तरीके की चीजों में हिस्सा लेने की आवश्यकता है जिसे आने वाली पीढियां को मानसिक रूप से किसी भी प्रकार की कोई भी विकृति ना रहे और एक स्वस्थ भारत का निर्माण हो किया जा सके।

कार्यशाला में अधिष्ठाता छात्र कल्याण प्रोफेसर डे, राष्ट्रीय सेवा योजना की कोऑर्डिनेटर डॉ नलिनी मिश्रा तथा कार्यक्रम संयोजक डॉ पूनम चौधरी, डॉ मनीष कुमार आदि लोगों ने प्रतिभाग किया।

About Samar Saleel

Check Also

Lucknow Municipal Corporation का बजट सदन से पारित, पार्षदों की निधि 150 लाख रुपये से बढ़कर हुई 210 लाख रुपये प्रति वार्ड

लखनऊ। नगर निगम की सदन की बैठक (House Meeting) में मंगलवार को वित्तीय वर्ष 2025-26 ...