मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की जनपदों की यात्रा में विकास का सन्दर्भ प्रमुख होता है। इसके साथ ही इसमें राष्ट्र व संस्कृति के प्रति चेतना का विचार भी समाहित रहता है। वह कहते भी है कि वर्तमान सरकार बिना भेदभाव के सभी वर्गों को योजनाओं से लाभान्वित कर रही है। सरकार सबका साथ सबका विकास और सबका विश्वास की भावना से कार्य कर रही है। इस क्रम में योगी आदित्यनाथ की रामपुर यात्रा भी महत्वपूर्ण रही।
यहां उन्होंने विकास योजनाओं की सौगात दी। साथ ही राष्ट्रधर्म का विचार भी व्यक्त किया। पिछली सरकार के कार्यकाल में भी रामपुर खूब चर्चित रहा। इस चर्चा के केंद्र में यहां के जनप्रतिनिधि थे। उनके फरमान,उनके बयान उनके बयान,उनका आचरण,मतहतो के साथ उनका व्यवहार आदि सब कुछ चर्चा में रहते थे। बार बार रूठना उनकी फितरत थी।
हाई कमान को अपने नखरे उठाते देखना उन्हें पसंद था। यह भी सन्देश दिया गया जैसे नई पीढ़ी को उनसे प्रेरणा लेने की जरूरत है,जिनके नाम पर बनने वाला विश्वविद्यालय उनका ड्रीम प्रोजेक्ट हुआ करता था। योगी आदित्यनाथ की विचारधारा अलग है। वह मुख्यमंत्री बने तो यहां का चक्र अलग दिशा में चलने लगा। कुछ दिन पहले योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में कहा था कि विद्यार्थियों को सामान्य शिष्टाचार तथा संस्कारयुक्त शिक्षा दी जानी चाहिए। आठ वर्ष की आयु तक विद्यार्थियों को जो संस्कार दिया जाएगा,वह राष्ट्र की आधारशिला बनेगा।
संस्कारयुक्त शिक्षा से राष्ट्र के मित्र और शत्रु की पहचान की क्षमता विकसित होती है। रामपुर में योगी आदित्यनाथ ने अनेक विकास योजनाओं का शिलान्यास व लोकार्पण किया। उनका सन्देश साफ था। समग्र विकास सरकार की प्राथमिकता है। इसके अनुकूल माहौल कायम रखना सरकार की जिम्मेदारी है। गंभीरता के साथ इस जिम्मेदारी का निर्वाह किया जा रहा है। योगी का दावा है कि किसी भू माफिया को गरीबों, दलितों,वंचितों और व्यापारियों की सम्पत्ति पर कब्जा नहीं करने दिया जाएगा। रामपुर जनपद बिना भेदभाव के विकास की प्रक्रिया का हिस्सा बन रहा है।
बड़े प्रोजेक्ट,गरीब कल्याणकारी योजनाएं लागू कराने के साथ साथ कानून व्यवस्था को बेहतर बनाए रखने के लिए केन्द्र और प्रदेश सरकार लगातार कार्य कर रही हैं। पिछले साढ़े चार वर्षों के दौरान जनपद रामपुर के लिए तीन हजार करोड़ रूपये की परियोजनाओं की स्वीकृति राज्य सरकार द्वारा की गई है। रामपुर में करीब डेढ़ सौ भू माफियाओं के विरुद्ध कार्यवाई की गई। जिनसे करीब साढ़े छह सौ हेक्टेयर भूमि को भू-माफियाओं के कब्जे से मुक्त भी कराया गया।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि में दो लाख चौसठ हजार से अधिक कृषकों को लगभग चार सौ करोड़ रुपये की राशि अब तक उनके बैंक खाते में भेजी जा चुकी है। फसल ऋण मोचन के अन्तर्गत चौसठ हजार से अधिक किसानों का ऋण माफ किया जा चुका है। जिनमें उन किसानों के खातों में तीन सौ छांछठ करोड़ रुपये से अधिक उपलब्ध कराए गए। रूद्र बिलास चीनी मिल के अलावा अन्य जर्जर चीनी मिलों के पुनरुद्धार किया जाएगा। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि भारत विरासत का देश है।
दुनिया की इस सबसे प्राचीन विरासत को सुरक्षित और संरक्षित करने का दायित्व भी हम सभी पर है। प्रधानमंत्री के नेतृृत्व में पूरे देश ने एक भारत, श्रेष्ठ भारत के निर्माण की दिशा में कदम बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि कश्मीर में अनुच्छेद 370 की समाप्ति और अयोध्या में भगवान श्रीराम का भव्य मन्दिर एक भारत,श्रेष्ठ भारत की श्रृृंखला का हिस्सा है।