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डेंगू : प्लेटलेट कम होने से कहीं ज्यादा खरनाक है डिहाइड्रेशन

• शरीर को हाइड्रेंट रखने के लिए हर दो घंटे पर लें ओआरएस घोल

• नीबू पानी, छांछ, नारियल पानी जैसे तरल पदार्थो का सेवन भी है मददगार

वाराणसी। डेंगू में प्लेटलेट कम होने से कहीं ज्यादा खतरनाक होता है मरीज को डिहाइड्रेशन। शरीर में पानी की कमी यानी डिहाइड्रेशन से मरीज का ब्लड प्रेशर और हार्ट रेट असामान्य होने लगता है। साथ ही वह अचेत हो सकता है। ऐसे में अगर सही समय पर शरीर को हाइड्रेट न किया जाए, तो डिहाइड्रेशन की यह स्थिति उसके लिए जानलेवा भी हो सकती है।

पंडित दीन दयाल उपाध्याय चिकित्सालय के फिजिशियन डॉ. श्रीतेश मिश्र कहते हैं कि डेंगू होने के बाद प्लेटलेट्स कम होने पर आमतौर पर लोग घबरा जाते हैं। ध्यान रखने वाली बात है कि मरीज के प्लेटलेट्स पर नजर रखें। 30 हजार से कम होने पर प्लेटलेट्स चढ़ाने की आवश्यकता पड़ सकती है। उन्होंने बताया कि डेंगू के मरीज को स्वस्थ व्यक्ति की तुलना में भूख, प्यास कम लगती है। इससे शरीर में कमजोरी आना सामान्य बात है। इसके अलावा तेज #बुखार, डायरिया और उल्टी आदि से भी शरीर से पानी और इलेक्ट्रोलाइट्स काफी मात्रा में बाहर निकल जाते हैं। इससे भी डिहाइड्रेशन होना शुरू हो जाता है। वह बताते हैं कि आमतौर पर डेंगू के सभी मरीजों में प्लेटलेट्स थोड़े बहुत कम होते हैं। इसकी रिकवरी 8-10 दिन बाद स्वतः होने लगती है।

डेंगू होने पर शरीर को इस तरह रखें हाइड्रेंट- डा. श्रीतेश कहते है डेंगू के बुखार के दौरान शरीर को हाइड्रेट रखना बहुत जरूरी है। इसके लिए #मरीज को हर दो घंटे पर एक गिलास ओआरएस घोल जरूर देना चाहिए साथ ही समय-समय पर लिक्विड वाली चीजें जैसे नींबू पानी, नारियल पानी, छांछ आदि पिलाते रहना चाहिए, जिससे उनके शरीर में सोडियम, पोटैशियम, मैग्नीशियम आदि का संतुलन बना रहे।

घरेलू नुस्खों की बजाय डॉक्टर की मानें सलाह – डा. श्रीतेश कहते है तेज बुखार, सिर दर्द, मसल्स, हड्डियों और जोड़ों में दर्द, जी मिचलाना उल्टी होना, आंखों के पीछे दर्द, ग्रंथियों में सूजन, त्वचा पर लाल चकत्ते होना, अधिक थकान प्लेटलेट्स कम डेंगू के सामान्य लक्षण होते है। बुखार से पीड़ित मरीज को डेंगू है या नहीं इसकी पुष्टि के लिए एलाइजा जांच करानी चाहिए। इस जांच में यदि #डेंगू होने की रिपोर्ट आती है तो किसी चिकित्सक से सलाह लेकर फौरन उपचार शुरू करा देना चाहिए। कुछ लोग चिकित्सक से सलाह लेने की बचाय घरेलू उपचार करने लगते है। यह मरीज के लिए घातक हो जाता है।

डेंगू से बचाव के उपाय- डेंगू एक संक्रामक रोग है जो एडीज मच्छर के काटने से फैलता है। यह मरीज को छूने, उसके पास बैठने से नहीं होता। डेंगू से बचने के लिए मच्छरों से बचना बहुत जरूरी है। लिहाजा अपने आसपास मच्छरों को पनपने से रोकें।

ऐसी जगह जहां मच्छर पनप सकते हैं वहां पानी न जमा होने दें, पुराने टायर, नारियल की खोल, प्लास्टिक बैग, गमले, कूलर में भी पानी जमा न होनें दें। इतना ही नहीं मच्छरों से बचने का हर सम्भव प्रयास करना चाहिए जैसे #मच्छरदानी लगाना,पूरी बांह के कपड़े पहनना आदि का प्रयोग करें।

रिपोर्ट-संजय गुप्ता 

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