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मणिपुर में अंतर-जिला बस सेवा बहाल; कांगपोकपी में वाहन पर हमले के बाद झड़प में एक युवक की मौत

इंफाल:  मणिपुर राज्य परिवहन की बस पर शनिवार को कांगपोकपी में हमला हुआ। यह हमला तब हुआ, जब इंफाल से पहाड़ी क्षेत्रों के लिए अंतर-जिला बस सेवा फिर से शुरू हुई। पूर्वोत्तर राज्य में जातीय संघर्ष शुरू होने के बाद से यह बस सेवा बंद थी। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

सुरक्षा बलों के साथ झड़प में युवक की मौत
पिछले साल दिसंबर में राज्य सरकार ने इंफाल से कांगपोकपी और चुराचांदपुर के लिए सार्वजनिक बस सेवा फिर से शुरू करने की कोशिश की थी। लेकिन मणिपुर राज्य परिवहन (एमएसटी) स्टेशन, मोइरांगखोम, इंफाल में कोई भी यात्री बस में नहीं बैठा। अधिकारियों ने बताया कि सेनापति जिले की ओर से जा रही बस पर कांगपोकपी जिले के गमगमिफाई इलाके में भीड़ ने पत्थर फेंके। सुरक्षा बलों ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े और लाठीचार्ज किया। सुरक्षा बलों के साथ झड़प में एक युवक लालगौथांग सिंगसिट (30 वर्षीय) की मौत हो गई, जबकि 25 लोग घायल हो गए। सिंगसिट को झड़प के दौरान गोली लगी और अस्पताल ले जाते समय उनकी मौत हो गई।

बहाल की गई अंतर जिला बस सेवा
इंफाल हवाई अड्डे से बसें बिना किसी यात्री के सुबह दस बजे पहाड़ी जिलों चुराचांदपुर और सेनापति के लिए रवाना हुईं। इन बसों को केंद्रीय बलों के बड़े काफिले ने सुरक्षा प्रदान की, जिसमें सेना के जवान भी शामिल थे। चुराचांदपुर की ओर जा रही बस ने बिना किसी रुकावट के विष्णुपुर जिले को पार किया और कांगवाई पहुंची। सेनापति जिले की ओर जा रही बस को कांगपोकपी होते हुए इंफाल जिले के कांगलाटोंगबी तक कोई बाधा नहीं मिली। राज्य परिवहन बस सेवा जनता को होने वाली असुविधाओं को कम करने और राज्य में स्थिति को सामान्य करने की पहल के रूप में फिर से शुरू की गईं।

केंद्रीय गृह मंत्री ने दिया सख्त कार्रवाई का निर्देश
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हाल ही में सुरक्षा बलों को मणिपुर में आठ मार्च से सभी मार्गों पर लोगों की खुली आवाजाही सुनिश्चित करने और अवरोध पैदा करने वालों पर सख्त कार्रवाई करने का निर्देश दिया था। मणिपुर की सुरक्षा स्थिति की समीक्षा के लिए एक बैठक की अध्यक्षता करते हुए उन्होंने कहा कि केंद्र राज्य में स्थायी शांति बहाल करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है और इस संबंध में सभी जरूरी मदद प्रदान कर रहा है। पूर्वोत्तर राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू होने के बाद यह पहली बैठक आयोजित की गई थी। राज्य में मई 2023 से जातीय हिंसा जारी है। इस हिंसा में ढाई सौ से अधिक लोगों की जान जा चुकी है।

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