अयोध्या में दीपोत्सव का विश्व कीर्तिमान स्थापित हुआ। लक्षण जी द्वारा बसाई गई नगरी लखनऊ भी पहली बार एक लाख गोमय दीपोत्सव से जगमगा उठा। इस गोमय दीपोत्सव पर उप मुख्यमंत्री डॉ दिनेश शर्मा मंत्री गोपाल टंडन महापौर संयुक्ता भाटिया सहित बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे। महापौर श्रीमती संयुक्ता भाटिया ने कहा कि भारतीय त्योहार आज भी परिवार और समाज के एकत्रीकरण का ही त्यौहार है। भारतीय संस्कृति में त्यौहारों का अलग ही महत्व है।वर्ष भर होने वाले छोटे बड़े त्यौहार हमारे समाज के धर्म और संस्कृति से जुड़े रखते हैं।
अयोध्या में भगवान श्री राम मंदिर निर्माण की ऐतिहासिक घड़ी में बहुत कम समय बचा है। लंका विजय कर अयोध्या लौटे प्रभु राम के आगमन की खुशी में जलाई गई दीपों की माला और घर घर हुई सजावट ने विश्व को दिवाली जैसा पावन पर्व दिया था। उस समय उनके साथ माता सीता व प्रभु लक्ष्मण भी थे।इस बार श्री राम की जन्मभूमि पर सदियों की प्रतीक्षा के बाद शुरू हुए भव्य राम मंदिर निर्माण ने दीपोत्सव की खुशी को अनंत गुना बढ़ा दिया है। भगवान लक्ष्मण जी ने ही हमारी लक्ष्मण नगरी लखनऊ को बसाया था। इसी खुशी में प्रभु राम के अनुज भगवान लक्ष्मण की नगरी लखनऊ भी पहली बार गोमय दीपोत्सव से पूरी तरह हर्ष और उल्लास में इस अलौकिक दीपोत्सव का साक्षी बन रहा है।
लंका पर विजय प्राप्त करने में उनकी भाई लक्ष्मण की अहम भूमिका से हम सभी परिचित हैं। चौदह वर्ष लक्ष्मण जी ने भी समर्पित भाव से प्रभु श्री राम व माता सीता के साथ वनवास किया था।जिस प्रकार आज अयोध्या 5 लाख 51 हज़ार दीयों से राममय होगी उसी प्रकार भगवान लक्ष्मण की नगरी भी 1 लाख गोमय दियों से गोमती तट को दिव्यता प्रदान कर रही है। नगर निगम के कान्हा उपवन में निर्मित एक लाख दियों से दीप उत्सव की शुरुआत हो रही है। यह गोबर के दिये ना सिर्फ वातावरण के लाभकारी है बल्कि एक लाख दीयों को निर्मित करने में कई लोगों को रोजगार भी मिला है। इसमें कई स्वयं सेवी संस्थाओं ने भी बढ़ चढ़ कर सहभाग किया है।