नई दिल्ली। संसद के मानसून सत्र का 8वां दिन भी काफी हंगामेदार रहा। पेगासस जासूसी प्रकरण और कोरोना महामारी के मुद्दे पर विपक्ष के तीखे तेवर देखने को मिले। वहीं कांग्रेस समेत 14 विपक्षी दलों के नेताओं ने सरकार को घेरने और दबाव बनाने की रणनीति पर चर्चा की। राहुल गांधी और कई अन्य नेताओं ने बुधवार को पेगासस के मुद्दे पर लोकसभा में कार्यस्थगन का नोटिस भी दिया। सूत्रों के हवाले से प्राप्त जानकारी के अनुसार लोकसभा में स्पीकर की कुर्सी के प्रति अभद्र व्यवहार प्रदर्शित करने और कागज के टुकड़े फेंकने के लिए कुछ सांसदों को निलंबित किया जा सकता है। इन सांसदों में गुरजीत सिंह औजला, टीएन प्रथपन, मनिकम टैगोर, रवनीत सिंह बिट्टू, हिबी ईडन, ज्योतिमणि सेन्निमलई, सप्तगिरि शंकर उलाका, वी वैथिलिंगम और एएम आरिफ के नाम शामिल हैं।
बता दें कि बुधवार को सूचना प्रौद्योगिकी पर संसद की स्थायी समिति की बैठक का आयोजन होना था, लेकिन कोरम के अभाव में बैठक नहीं हो सकी। बैठक में पेगासस मुद्दे पर चर्चा की जानी थी। समिति ने इसमें इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी मंत्रालय के अधिकारियों को बुलाया था। वहीं भाजपा सांसदों ने इस बैठक में शामिल होने से इनकार कर दिया था। बाद में विपक्ष के हंगामे के चलते लोकसभा की कार्यवाही को गुरुवार तक के लिए स्थगित कर दिया गया।
शशि थरूर को आईटी कमेटी के चेयरमैन पद से हटाने की मांग
लोकसभा में भारी हंगामे के बीच भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने कांग्रेस सांसद शशि थरूर को आईटी कमेटी के चेयरमैन पद से हटाने की मांग की। उन्होंने शशि थरूर पर मनमानी का आरोप लगाया है।
तृणमूल सांसद की तबीयत बिगड़ी, अस्पताल में भर्ती
तृणमूल कांग्रेस की सांसद शांता छेत्री की बुधवार को राज्यसभा में अचानक तबीयत बिगड़ गयी और उन्हें निकट के राम मनोहर लोहिया अस्पताल में भर्ती कराया गया।
तृणमूल सांसद की तबीयत बिगड़ने के कारण सदन की कार्यवाही आधे घंटे के लिए स्थगित करनी पड़ी।
राहुल ने सदन में हंगामे को सही ठहराया
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने पेगासस तथा किसानों के मुद्दे पर संसद में चल रहे हंगामे को सही ठहराते हुए कहा है कि उनकी पार्टी अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर रही है और सरकार को पेगासस जैसे संवेदनशील मामले में संसद में जवाब देना चाहिए। राहुल ने संसद भवन के बाहर पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार पेगासस को हथियार के रूप में अपने लोगों तथा लोकतांत्रिक संस्थाओं के खिलाफ इस्तेमाल कर रही है।