उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रारंभ से ही निवेश के अनुकूल माहौल बनाने हेतु कारगर कदम उठाये थे। इसके सकारात्मक परिणाम मिले। इन्वेस्टर्स समिट से शुरू हुई निवेश यात्रा आगे बढ़ रही है। पिछले दिनों योगी की मुम्बई यात्रा के दौरान भी उद्योगपतियों ने उत्तर प्रदेश में निवेश के प्रति उत्साह दिखाया था। एक बार फिर अनेक प्रमुख उद्योगपति भी निवेश हेतु तैयार है। पिछले वर्षों में राज्य में निवेश का बेहतर माहौल बना है। अब बाहर रहने वाले निवेशक भी उत्तर प्रदेश में निवेश करना चाहते हैं। वे सभी राज्य के सामाजिक कार्यों में भी सरकार के साथ सहयोग करना चाहते हैं। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उनकी सरकार अवस्थापना सुविधा के विकास हेतु प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है। विगत तीन वर्षों में राज्य सरकार ने अवस्थापना सुविधाओं के विकास पर विशेष ध्यान दिया है।
4 एक्सप्रेस वे: वर्तमान में प्रदेश में चार एक्सप्रेस वे निर्माणाधीन हैं। पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर अगले वर्ष मार्च में आवागमन प्रारम्भ हो जाएगा। यह एक्सप्रेस-वे पूर्वी उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था का बैकबोन सिद्ध होगा। बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस-वे, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे से जोड़ते हुए विकसित किया जा रहा है। यह एक्सप्रेस-वे बुन्देलखण्ड क्षेत्र के सभी जनपदों को जोड़ते हुए चित्रकूट तक जाएगा। चित्रकूट एक महत्वपूर्ण धार्मिक नगरी है। बड़ी संख्या में श्रद्धालु प्रतिवर्ष यहां पर आते हैं। यहां आने वाले श्रद्धालु बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस-वे के निर्माण के पश्चात देश की राजधानी नई दिल्ली की यात्रा छह घण्टे में सम्पन्न कर सकेंगे, जिसमें अभी बारह घण्टे तक लगते हैं। गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे और मेरठ से प्रयागराज तक के छह सौ किमी लम्बाई के गंगा एक्सप्रेस-वे के निर्माण की कार्यवाही गतिमान है।
औद्योगिक क्लस्टर: इन एक्सप्रेस-वे के निर्माण के साथ ही, प्रदेश के सभी जनपदों में औद्योगिक क्लस्टर के विकास पर भी कार्य किया जा रहा है। प्रदेश के प्रत्येक जनपद तथा अन्य राज्यों को चार लेन मार्गों से जोड़ा जा रहा है। तहसील एवं विकास खण्डों को दो लेन मार्गों से जोड़ा गया है। उत्तर प्रदेश में देश का पहला वाॅटर-वे भी बना है।
3 वर्ष 6 एयरपोर्ट: प्रदेश में तीन वर्ष पहले दो एयरपोर्ट कार्यशील थे। वर्तमान में आठ एयरपोर्ट कार्यशील हैं। कई अन्य पर कार्य तेजी से संचालित है। जेवर, कुशीनगर,अयोध्या में अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के निर्माण की कार्यवाही संचालित है। इसके अलावा,चित्रकूट, सोनभद्र,आजमगढ़, बरेली आदि में एयरपोर्ट बनाया जा रहा है।
4 महानगरों में मेट्रो: मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश के शहरों लखनऊ,गाजियाबाद, नोएडा,ग्रेटर नोएडा में मेट्रो रेल संचालित है। आगरा एवं कानपुर नगरों में मेट्रो रेल के निर्माण की कार्यवाही जारी है। इसके अलावा, अन्य शहरों में भी मेट्रो रेल बनाने की योजना है। दिल्ली-मेरठ रैपिड रेल के अलावा दिल्ली-मेरठ बारह लेन एक्सप्रेस-वे का निर्माण भी हो रहा है। मेरठ से हरिद्वार को जोड़ने के लिए गंग नहर के दोनों किनारों पर मार्ग निर्माण कराए जाने का निर्णय लिया गया है।
3 वर्ष में 3 लाख करोड़ निवेश: ऊर्जा क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य किया गया है। ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में निर्बाध विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित करायी जा रही है। औद्योगिक क्षेत्र में ओपेन एक्सेस की व्यवस्था लागू की गई है। सैमसंग डिस्प्ले नोएडा प्रालि उत्तर प्रदेश में पांच हजार करोड़ रुपए का निवेश कर रही है। प्रदेश में डेटा सेण्टर के लिए छह हजार करोड़ रुपए का निवेश सम्भावित है। प्रदेश सरकार ने प्रदेश के विकास के लिए जो तत्परता दिखायी है, उसके परिणामस्वरूप विगत तीन वर्षों में तीन लाख करोड़ रुपए से अधिक का निवेश हुआ है।
3 वर्ष 30 मेडिकल कॉलेज: मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में तीन वर्ष पहले तक बारह मेडिकल काॅलेज थे। विगत तीन वर्षों में प्रदेश में तीस नये मेडिकल काॅलेज स्थापित किए जा रहे हैं। गोरखपुर में निर्मित एम्स का आगामी मार्च में शुभारम्भ किया जाएगा। इसके समकक्ष ही एक संस्थान वाराणसी में स्थापित किया गया है। लखनऊ में कैंसर संस्थान का शुभारम्भ किया गया है। वर्तमान में प्रदेश के सोलह जनपदों में निजी अथवा राजकीय मेडिकल काॅलेज नहीं हैं। राज्य सरकार इन जनपदों में मेडिकल काॅलेज की स्थापना के लिए नीति बना रही है। इस सम्बन्ध में नेशनल मेडिकल काउन्सिल के साथ वार्ता चल रही है। कैलाश मानसरोवर भवन का लोकार्पण किया गया है। इस भवन से श्रद्धालुओं को सुविधा उपलब्ध होगी।
शिक्षण संस्थान: जनपद मेरठ में स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी की स्थापना की कार्यवाही गतिमान है। सहारनपुर,अलीगढ़ व आजमगढ़ में नए राज्य विश्वविद्यालय स्थापित हो रहे हैं। प्रयागराज में विधि विश्वविद्यालय स्थापित किया जा रहा है। इसी प्रकार आयुष विश्वविद्यालय की भी स्थापना की जा रही है।
फ़िल्म सिटी पर प्रगति: मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में एक फिल्म सिटी के निर्माण की कार्यवाही भी प्रगति पर है। गौतमबुद्धनगर के जेवर एयरपोर्ट से फिल्म सिटी की दूरी मात्र छह किमी है। फिल्म सिटी के लिए एक हजार एकड़ भूमि आरक्षित की गई है।
इण्डस्ट्रियल डिफेंस काॅरिडोर: उत्तर प्रदेश इण्डस्ट्रियल डिफेंस काॅरिडोर का निर्माण युद्ध स्तर पर चल रहा है। काॅरिडोर के छह नोड अलीगढ़, कानपुर,लखनऊ,झांसी, आगरा,चित्रकूट हैं। प्रदेश में शुगर इण्डस्ट्री में भी व्यापक सम्भावनाएं हैं। राज्य में कुल एक सौ उन्नीस चीनी मिलें संचालित हैं।
ग्रीन इनर्जी विकास: उत्तर प्रदेश के आग्रह पर भारत सरकार ने ग्रीन इनर्जी के रूप में एथेनाॅल बनाने की अनुमति दी है। साथ ही, चीनी मिलों में कोजेन प्लाण्ट एवं डिस्टेलरी की स्थापना की जा सकती है। फूड प्रोसेसिंग में भी प्रदेश में व्यापक सम्भावनाएं हैं। मुख्यमंत्री ने वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उप्र एसोसिएशन ऑफ नाॅर्थ अमेरिका द्वारा आयोजित ‘उत्तर प्रदेश इन्वेस्टमेंट एण्ड टूरिज्म’ ईवेन्ट को सम्बोधित किया। कहा कि भारतवंशियों ने अपने परिश्रम और पुरुषार्थ से विश्व में अपनी पहचान स्थापित की है। मातृभूमि के प्रति उनका लगाव सराहनीय है। भारत और उत्तर प्रदेश के सर्वांगीण विकास में प्रवासी भारतवंशियों की रुचि और सकारात्मक सहयोग की इच्छा सराहनीय है। अब बाहर रहने वाले निवेशक भी उत्तर प्रदेश में निवेश करना चाहते हैं। वे सभी राज्य के सामाजिक कार्यों में भी सरकार के साथ सहयोग करना चाहते हैं। अनेक उद्योगपतियों ने नोएडा में शिक्षा,मनोरंजन चिकित्सा नेत्र चिकित्सालय के मेगा प्रोजेक्ट स्थापित करने में रुचि दिखायी। उत्तर प्रदेश पर प्रकृति और परमात्मा की असीम कृपा है। इस कृपा को सौभाग्य में बदलने की जरूरत है। प्रवासी भारतवंशियों का सहयोग उपयोगी सिद्ध होगा।
पर्यटन व तीर्थाटन विकास: उत्तर प्रदेश प्रचुर प्राकृतिक संसाधनों से युक्त है। यहां आध्यात्मिक पर्यटन की अपार सम्भावनाएं हैं। यह मानव सभ्यता की प्रथम भूमि है। यह संसार के प्रथम राजा मनु की धरती है। दुनिया की प्राचीनतम नगरी काशी,कुम्भ की धरती प्रयागराज,कृष्ण की जन्मस्थली मथुरा,गंगा जी,यमुना जी,सरयू जी जैसी पवित्र नदियां यहां हैं। आध्यात्मिक पर्यटन के साथ ही,प्रदेश में ईको व हेरिटेज पर्यटन के भी व्यापक अवसर विद्यमान हैं। प्रधानमंत्री ने भारत की सांस्कृतिक धरोहर को विश्व में मान्यता दिलायी है। भारतीय ऋषि परम्परा की देन योग को वैश्विक स्तर पर मान्यता मिली है। उनकी पहल पर यूनेस्को ने कुम्भ को मानवता की अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर की मान्यता दी है। उनके मार्गदर्शन में राज्य सरकार ने प्रयागराज कुम्भ का भव्य एवं दिव्य आयोजन हुआ। इसे सुरक्षा,सुव्यवस्था, स्वच्छता के आयोजन के रूप में वैश्विक मानचित्र पर स्थापित किया। इस आयोजन में एक सौ सत्तासी देशों के प्रतिनिधियों,देश व दुनिया से चौबीस करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने अपनी उपस्थिति दर्ज करायी। अयोध्या में भव्य राम मंदिर के निर्माण का शुभारम्भ किया है। अयोध्या को दुनिया की सबसे सुंदर नगरी के रूप में विकसित किया जाएगा।
डॉ. दिलीप अग्निहोत्री