प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को मध्य प्रदेश के रीवा में स्थापित 750 मेगावाट की सौर परियोजना राष्ट्र को समर्पित की. कार्यक्रम में मध्य प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केंद्रीय मंत्री आरके सिंह, थावरचंद गहलोत, नरेंद्र सिंह तोमर भी मौजूद रहे. इस परियोजना के तहत 250-250 मेगावाट क्षमता की तीन इकाइयां लगायी गयी हैं.
इस अवसर पर अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि आज रीवा ने वाकई इतिहास रच दिया है. रीवा की पहचान माँ नर्मदा के नाम से और सफेद बाघ से रही है. अब इसमें एशिया के सबसे बड़े सोलर पावर प्रोजेक्ट का नाम भी जुड़ गया है. इसके लिए मैं रीवा के लोगों को, मध्य प्रदेश के लोगों को, बहुत-बहुत बधाई देता हूं, शुभकामनाएं देता हूं. रीवा का ये सोलर प्लांट इस पूरे क्षेत्र को, इस दशक में ऊर्जा का बहुत बड़ा केंद्र बनाने में मदद करेगा.
प्रधानमंत्री ने कहा कि इस सोलर प्लांट से मध्य प्रदेश के लोगों को, यहां के उद्योगों को तो बिजली मिलेगी ही, दिल्ली में मेट्रो रेल तक को इसका लाभ मिलेगा. इसके अलावा रीवा की ही तरह शाजापुर, नीमच और छतरपुर में भी बड़े सोलर पावर प्लांट पर काम चल रहा है. ये तमाम प्रोजेक्ट जब तैयार हो जाएंगे, तो मध्य प्रदेश निश्चित रूप से सस्ती और साफ-सुथरी बिजली का ॥क्च बन जाएगा. इसका सबसे अधिक लाभ मध्य प्रदेश के गरीब, मध्यम वगज़् के परिवारों को होगा, किसानों को होगा, आदिवासियों को होगा.
प्रधानमंत्री ने कहा कि सौर ऊर्जा आज की ही नहीं बल्कि 21वीं सदी की ऊर्जा ज़रूरतों का एक बड़ा माध्यम होने वाला है क्योंकि सौर ऊर्जा, श्योर है, प्योर है और सिक्योर है. जैसे-जैसे भारत विकास के नए शिखर की तरफ बढ़ रहा है, हमारी आशाएं-आकांक्षाएं बढ़ रही हैं, वैसे-वैसे हमारी ऊजाज़् की, बिजली की ज़रूरतें भी बढ़ रही हैं. ऐसे में आत्मनिर्भर भारत के लिए बिजली की आत्मनिर्भरता बहुत आवश्यक है. जब हम आत्मनिर्भरता की बात करते हैं, प्रगति की बात करते हैं तो अर्थव्यवस्था उसका एक अहम पक्ष होता है. पूरी दुनिया के नीति निर्माता बरसों से दुविधा में है, कि अर्थव्यवस्था की सोचें या पर्यावरण की.
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज आप देखेंगे कि सरकार के जितने भी कार्यक्रम हैं, उनमें पर्यावरण सुरक्षा और जिन्दगी को आसान करने प्राथमिकता दी जा रही है. हमारे लिए पर्यावरण की सुरक्षा सिर्फ कुछ प्रोजेक्ट्स तक सीमित नहीं हैं, बल्कि ये जीने का रास्ता है. जब हम नवीकरणीय ऊर्जा के बड़े प्रोजेक्ट्स लॉन्च कर रहे हैं, तब हम ये भी सुनिश्चित कर रहे हैं कि साफ-सुथरी ऊर्जा के प्रति हमारा संकल्प जीवन के हर पहलू में दिखे. हम कोशिश कर रहे हैं कि इसका लाभ देश के हर कोने, समाज के हर वर्ग, हर नागरिक तक पहुंचे.
प्रधानमंत्री ने कहा कि एलईडी बल्ब से बिजली का बिल कम हुआ है. इसका एक और महत्वपूर्ण पहलू है. एलईडी बल्ब से करीब साढ़े 4 करोड़ टन कम कार्बन डाइअकसाइड पर्यावरण में जाने से रुक रही है, यानि प्रदूषण कम हो रहा है.