बिहार के एक छोटे से गांव चांदवा से दिल्ली की राजनीति तक का सफर करने वाले बाबू जगजीवन राम दलितों, गरीबों और वंचितों के मसीहा माने जाते थे। उन्होंने दलित समाज को स्वतंत्रता संग्राम का हिस्सा बनाया। बनारस हिंदू विश्वविद्यालय में शिक्षा प्राप्त करने से लेकर जगन्नाथ मंदिर में पत्नी ...
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