हर महीने में 2 बार चतुर्थी पड़ती है, हिंदू धर्म में चतुर्थी तिथि भगवान गणेश को समर्पित की गई है. मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की #चतुर्थी 27 नवंबर 2022, रविवार को है. शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को विनायक चतुर्थी कहते हैं. मान्यता है कि इस दिन भगवान गणेश की विधि-विधान से पूजा करने से जीवन की सारी बाधाएं दूर होती हैं. लेकिन इस दिन चंद्रमा को नहीं देखना चाहिए. मान्यता है कि इस दिन चंद्रमा देखने से कलंक लगता है.
हिंदू पंचांग के अनुसार, मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि 26 नवंबर, शनिवार की शाम 07 बजकर 28 मिनट पर प्रारंभ होकर 27 नवंबर रविवार की शाम 04 बजकर 25 मिनट तक रहेगी. उदयातिथि के अनुसार मार्गशीर्ष माह की विनायक चतुर्थी का व्रत 27 नवंबर को रखा जाएगा. इस दिन पूजा करने के लिए सबसे शुभ समय सुबह 11 बजकर 06 मिनट से दोपहर 01 बजकर 12 मिनट तक है.
मार्गशीर्ष विनायक चतुर्थी के दिन 2 बेहद शुभ योग बन रहे हैं. 27 नवंबर को सर्वार्थ सिद्धि #योग और रवि योग बन रहे हैं. 27 नवंबर 2022 की सुबह 06 बजकर 53 मिनट से दोपहर 12 बजकर 38 मिनट तक रवि योग रहेगा. वहीं 27 नवंबर की दोपहर 12 बजकर 38 मिनट से 28 नंवबर की सुबह 06 बजकर 54 मिनट तक सर्वार्थ सिद्धि योग है. इन दोनों योग को शुभ कार्य करने और पूजा-पाठ के लिए बेहद शुभ माना गया है. इस समय पूजा करने से गणपति बप्पा सारी मनोकामनाएं पूरी करते हैं.