देशभर में रविवार को आयुष्मान भारत योजना का शुभारंभ किया गया। केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने लखनऊ में आयुष्मान भारत योजना का शुभारंभ किया। इस मौके पर राजधानी से सांसद और केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि आयुष्मान योजना में देश के 50 करोड़ लोगों को लाभ मिलेगा।आयुष्मान भारत योजना के तहत किसी भी अस्पताल में कैशलेस इलाज होगा। योजना के तहत कसौटी पर खरे उतरने वाले अस्पतालों को पैनल में रखा जाएगा। अस्पताल में एक हेल्प डेस्क होगा, जो दस्तावेज चेक करने से लेकर स्कीम में नामांकन के लिए वेरिफिकेशन में मदद करेगा। देश के किसी भी सरकारी पैनल में शामिल अस्पताल में व्यक्ति इस योजना के तहत इलाज करा सकने में सक्षम होगा।
आयुष्मान भारत योजना के लाभार्थियों की अलग-अलग श्रेणियां
आयुष्मान योजना का लाभ लेने के लिए सामाजिक और आर्थिक जाति जनगणना के आंकड़ों का इस्तेमाल किया जाएगा। सोशियो इकोनॉमिक सेंशस डाटा के मुताबिक लाभार्थियों को अलग-अलग श्रेणियों (डी1, डी2, डी3, डी4, डी5, और डी7) में रखा जाएगा, जिसके आधार इस योजना का लाभ मिलेगा। इसके अलावा जिन राज्यों में राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना के लाभार्थी हैं, उन्हें भी आयुष्मान भारत योजना का लाभ दिया जाएगा।
बीपीएल परिवार को पांच लाख का मुफ्त इलाज
बीपीएल परिवार को पांच लाख तक का मुफ्त इलाज मिलेगा। उत्तर प्रदेश के करीब 6 करोड़ लोगों को इस योजना का लाभ मिलेगा। उन्होंने कहा कि योजना को ठीक से क्रियान्वयन करने के लिए सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों में आयुष मित्र रखेंगे जो मरीजों को आसानी से इलाज उपलब्ध कराने में मदद करेंगे। राजधानी के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में इस योजना का शुभारंभ कार्यक्रम आयोजित किया गया।
जांच सुविधा मुफ्त करने की योजना
गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि लोगों को बेहतर इलाज के लिए जांच की सुविधा मुफ्त उपलब्ध कराई जाएगी, उसकी योजना तैयार की जा रही है जल्द ही इसे अमलीजामा पहनाया जायेगा। वहीं राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि यह भारत के लिए एतिहासिक दिन से कम नहीं और गरीबों को लाभ पहुंचाने की यह अब तक की सबसे बेहतरीन योजना है।
संकट मोचन योजना -राज्यपाल
राज्यपाल ने कहा कि हिंदुस्तान में करीब 5 करोड़ ऐसी जनता है, जिनके परिवार में किसी सदस्य की बीमारी के कारण गरीबी रेखा के नीचे चले गए हैं। ऐसे कितने लोग हैं उन्हें चिन्हित किया गया है। यह एक संकट मोचन योजना है और इसके बाद किसी भी परिवार को मदद के लिए हाथ फैलाने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
सरकारी या प्राइवेट अस्पतालों में इलाज
चिकित्सा स्वास्थ्य राज्य मंत्री डॉक्टर महेंद्र सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश मेंं करीब 680 अस्पतालों का चयन किया जा चुका है। इसमें 375 सरकारी व 305 प्राइवेट अस्पताल शामिल हैं। लखनऊ में 27 सरकारी व प्राइवेट 44 अस्पताल शामिल है। इन अस्पतालों में योजना के तहत पंजीकृत मरीजों को 5 लाख तक का मुफ्त इलाज उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने बताया कि अब तक 10265 अस्पतालों ने पंजीकरण किया था। मानकों के हिसाब से 680 अस्पताल ही पाए गए हैं। बाकी अस्पतालों को जल्द ही पंजीकृत किया जाएगा ताकि मरीजों को इलाज के लिए इंतजार ना करना पड़े।